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जबलपुर: साध्वी प्रज्ञा ठाकुर के खिलाफ FIR दर्ज करवाने पहुंचे कमलनाथ के मंत्री, लगाया देश द्रोह का आरोप

कांग्रेस नेता तरुण भनोट ने साध्वी प्रज्ञा के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की है. तरुण भनोट का कहना है कि साध्वी प्रज्ञा के बयान की वजह से वे आहत हुए हैं.

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Published : Apr 20, 2019, 8:21 PM IST

तरुण भनोट ने साध्वी प्रज्ञा के खिलाफ मामला दर्ज करने की मांग की

जबलपुर। मध्यप्रदेश के वित्त मंत्री और कांग्रेस नेता तरुण भनोट जबलपुर के गोरखपुर थाना पहुंचे और भोपाल से बीजेपी की लोकसभा प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की. तरुण भनोट का कहना है कि साध्वी प्रज्ञा के बयान की वजह से वे आहत हुए हैं क्योंकि साध्वी ने शहीद आईपीएस हेमंत करकरे का जिस तरीके से अपने बयान के जरिए अपमान किया है, वो देशद्रोह की श्रेणी में आता है, इसलिए साध्वी के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाए.

तरुण भनोट ने साध्वी प्रज्ञा के खिलाफ मामला दर्ज करने की मांग की

वहीं गोरखपुर थाना प्रभारी एफआईआर दर्ज करने के लिए तैयार नहीं हुए. उन्होंने मामले की सूचना वरिष्ठ अधिकारियों को दी. जिसके बाद एडिशनल एसपी मौके पर पहुंचे और कांग्रेस नेताओं को समझाने की कोशिश की. एडिशनल एसपी ने कहा कि साध्वी ने यह बयान भोपाल में दिया है, जबलपुर में एफआईआर दर्ज नहीं की जा सकती है. लेकिन अपने वकीलों के दल के साथ थाने पहुंचे वित्त मंत्री ने कहा कि जब मुंबई में रिलीज होने वाली फिल्म पर देशभर में कहीं भी एफआईआर दर्ज हो सकती है, तो पुलिस इस मामले पर एफआईआर क्यों नहीं दर्ज कर सकती है.

वहीं काफी मशक्कत के बाद पुलिस ने कहा कि कांग्रेसी अपनी शिकायत दे, पुलिस इस मामले की पूछताछ कर जांच करेगी. यदि कहीं दूसरी जगह मामला दर्ज नहीं हुआ होगा, तो एफआईआर भी दर्ज करेगी. तरुण भनोट का कहना है यह मामला राजनीतिक नहीं है. एक महिला ने हमारे एक शहीद का अपमान किया है जो व्यक्तिगत तौर पर देश के किसी भी नागरिक को ठीक नहीं लग सकता, इसलिए वे राजनीति से हटकर व्यक्तिगत तौर पर साध्वी प्रज्ञा के खिलाफ मामला दर्ज करना चाहते हैं.

साध्वी प्रज्ञा बीजेपी के लिए गले में फंसी हड्डी बन गई है, इस मामले में तूल पकड़ लिया है और यदि बीजेपी पीछे हटती है तो यह एक बड़ी चूक मानी जाएगी. यदि साथ रहती है तो इस मुद्दे पर पूरे देश में सवालों का सामना करना पड़ेगा. लेकिन 2019 का यह चुनाव देश में पहली बार शहीदों के अपमान के नाम से जाना जाएगा.

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