इंदौर। नई शिक्षा नीति को लेकर अब देवी अहिल्या विश्वविद्यालय में तैयारियां शुरू हो गई है, जिसके लिए विश्वविद्यालय द्वारा एक कमेटी भी बनाई गई है, जिसके माध्यम से नए कोर्स और नया सिलेबस तैयार किया जा रहा है, ताकि नवीनतम शिक्षा सत्र से लागू किया जा सके.
तीन अलग-अलग भागों में तैयार किए जा रहे हैं कोर्स और सिलेबस
देवी अहिल्या विश्वविद्यालय की कुलपति डॉ रेणु जैन के अनुसार विश्वविद्यालय में नई शिक्षा नीति के आधार पर कोर्स और सिलेबस तैयार किया जा रहा है, यह कोर्स और सिलेबस तीन अलग-अलग भागों में तैयार किए जा रहे हैं, जिसमें मुख्य तौर पर सर्टिफिकेट डिप्लोमा डिग्री के कोर से शामिल है, यह कोर्स में 1 वर्ष का कोर्स सर्टिफिकेट कोर्स 2 वर्ष का कोर्स डिप्लोमा कोर्स और 3 वर्ष का कोर्स डिग्री कोर्स कहलाएगा सर्टिफिकेट डिग्री और डिप्लोमा कोर्स के आधार पर सिलेबस तैयार किया जा रहा है, ताकि छात्रों को सुविधा मिल सके.
नए शिक्षा सत्र में नई शिक्षा नीति के आधार पर कोर्स लागू करने की तैयारी
देवी अहिल्या विश्वविद्यालय के कुलपति डॉक्टर रेणु जैन के अनुसार विश्वविद्यालय में नई शिक्षा नीति पर काम किया जा रहा है, नई शिक्षा नीति के आधार पर कोर्स और सिलेबस को लेकर विश्वविद्यालय द्वारा लगभग तैयारियां पूरी कर ली गई है, कवायद की जा रही है कि नई शिक्षा नीति के आधार पर तैयार किए गए कोर्स सिलेबस को सितंबर माह से शुरू होने वाले शिक्षा सत्र से लागू कर दिया जाए, वर्तमान में कोर्स सिलेबस तैयार करने का काम अंतिम चरण में है, जल्द ही इन्हें पूरा कर दिया जाएगा.
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देवी अहिल्या विश्वविद्यालय के यूटीडी कैंपस में विभिन्न विभागों के कई कोर्स संचालित किए जाते हैं, इन कोर्सों में 30 से अधिक यूजी और इंटीग्रेटेड कोर्स संचालित किए जाते हैं. वर्तमान में नई शिक्षा नीति के आधार पर यू जी के कोर्स और सिलेबस तैयार करने में प्राथमिकता दी जा रही है, ताकि छात्रों को नई शिक्षा नीति का लाभ मिल सके और इसे नए शिक्षा सत्र से लागू किया जा सके.