झारखंड

jharkhand

ETV Bharat / state

श्रीरामरेखाधाम में पूजन अनुष्ठान के साथ निधि समर्पण महाअभियान प्रारंभ , 27 फरवरी तक चलेगा

सिमडेगा में विश्व हिंदु परिषद के तत्वाधान में जिले के श्रीरामरेखा धाम में विशेष पूजन अनुष्ठान के साथ अयोध्या श्रीराम मंदिर निर्माण महानिधि समर्पण का शुभारंभ किया गया. इस मौके पर श्रीरामरेखाधाम समिति, विहिप, बजरंग दल के पदाधिकारी सहित सिमडेगा के कई लोग उपस्थित थे.

nidhi samarpan abhiyan started in shri ramrekha dham in simdega
पूजन अनुष्ठान के साथ प्रारंभ हुआ निधि समर्पण महाअभियान

By

Published : Jan 15, 2021, 3:20 PM IST

सिमडेगा: अयोध्या में श्रीराम मंदिर निर्माण को लेकर महानिधि समर्पण का शुभारंभ शुक्रवार को जिले के श्रीरामरेखा धाम में विशेष पूजन अनुष्ठान के साथ शुरू हुआ. विश्व हिंदु परिषद के तत्वाधान में सिमडेगा में श्रीरामरेखा धाम में विशेष पूजन अनुष्ठान के साथ श्रीराम मंदिर निर्माण महानिधि समर्पण का शुभारंभ किया गया. विहिप जिलाध्यक्ष कौशल राज देव सिंह ने यहांं विधिवत पूजन अनुष्ठान किया. इस मौके पर शहर के अनेक लोग उपस्थित रहे. पूजन आरती के बाद जिले में सबसे पहला निधि समर्पण स्लिप रामरेखाधाम के नाम से काटी गई.

इसे भी पढ़ें-4 साल की बच्ची के साथ छेड़खानी, आरोपी की जमकर हुई धुनाई, भेजा गया जेल

अभियान की शुरुआत श्रीराम जयघोष के साथ
भगवान श्रीराम अपने वनवास काल में रामरेखा धाम पहुंचे थे. नगर उपाध्यक्ष ने कहा कि जहां राम के चरण पड़े वहीं से उनके मंदिर निर्माण के लिए महानिधि समर्पण का शुभारंभ किया गया है. यह अभियान 27 फरवरी माघ पूर्णिमा तक चलेगा. अभियान की शुरुआत श्रीराम जयघोष के साथ किया गया. विहिप जिलाध्यक्ष ने बताया कि यहां के बाद सरनास्थल पर पूजन अनुष्ठान किया जाएगा. उन्होंने कहा कि जिले के सभी गांवों तक महानिधि समर्पण के कारसेवक पहुंचेंगे और घर-घर से सहयोग लेकर अयोध्या श्रीराम मंदिर निर्माण के लिए भेजेंगे. उन्होंने बताया कि सभी प्रखंडों में पूजन अनुष्ठान कर महानिधि समर्पण कार्य शुरू किया जाएगा.

रामायण, श्रीराम और रामरेखाधाम का एक खास जुड़ाव रहा है. पौराणिक कथाओं में भी श्रीरामरेखाधाम का जिक्र मिलता है, जहां 14 वर्ष के वनवास के दौरान प्रभु श्रीराम पत्नी सीता और भाई लक्ष्मण के साथ पधारे थे. रामरेखाधाम का महत्व सिमडेगा ही नहीं पड़ोसी राज्य उड़ीसा, छत्तीसगढ़, बिहार राज्य में भी काफी प्रचलित है. यहां प्रत्येक वर्ष हजारों की संख्या में श्रद्धालु दर्शन को पहुंचते हैं.

ABOUT THE AUTHOR

...view details