रांची: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को प्रवर्तन निदेशालय से पत्र के रूप में मिले आठवें समन पर झामुमो ने तीखी प्रतिक्रिया दी है. झामुमो ने कहा कि चंद गुजरातियों के इशारे पर ईडी एक झारखंडी युवक को परेशान और प्रताड़ित कर रही है. जिसका हिसाब राज्य की जनता आने वाले चुनाव में जरूर लेगी. वहीं मुख्यमंत्री को फिर से बयान दर्ज कराने के लिए बुलाए जाने को संवैधानिक कार्य बताते हुए भाजपा ने सवाल किया कि अगर गलती नहीं की है तो ईडी का सामना करने में डर कैसा?
ईडी के आठवें समन पर जेएमएम प्रवक्ता की प्रतिक्रियाःप्रवर्तन निदेशालय द्वारा मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को पत्र लिखकर बयान दर्ज कराने के लिए ईडी दफ्तर आने और नहीं तो ईडी के मुख्यमंत्री आवास या दफ्तर पहुंच जाने वाले मजमून पर झारखंड मुक्ति मोर्चा के केंद्रीय प्रवक्ता मनोज पांडेय ने कहा कि ईडी को किसी ने रोका है क्या कि वह कहां जाए और कहां न जाए? झामुमो प्रवक्ता ने कहा कि जब तानाशाही हुकूमत तानाशाही भरे फैसले लेती है, अपने संवैधानिक संस्थाओं का दुरुपयोग करती है तो लोकतंत्र में जनता इसका हिसाब करती है. झामुमो नेता ने कहा कि राजनीतिक रूप से जनाधार वाले नेता, जिनको भाजपा राजनीतिक रूप से परास्त नहीं कर पाती, वहां वह प्रवर्तन निदेशालय(ईडी), इनकम टैक्स(आईटी), सीबीआई को दुरुपयोग करने लगती है, लेकिन भाजपा और उसके शीर्षस्थ नेताओं को शायद यह पता नहीं कि झारखंड में एक आंदोलनकारी का बेटा जनता की सेवा में लगा है. लोकतंत्र में अगर हेमंत सोरेन को ज्यादा परेशान और प्रताड़ित किया गया तो जनता वोट के माध्यम से भाजपा को सबक सिखाएगी.
राजनीतिक बवंडर लाकर पॉलिटिकल माइलेज लेना चाहते हैं सीएम-सरोज सिंहः राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को बयान दर्ज कराने के लिए पत्र के रूप में दिए गए आठवें समन पर झामुमो नेताओं के आ रहे बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए झारखंड भाजपा के प्रवक्ता सरोज सिंह ने कहा कि अगर मुख्यमंत्री निर्दोष हैं तो उन्हें बयान दर्ज कराने जरूर ईडी के समक्ष जाना चाहिए. भाजपा नेता ने कहा कि संवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति को संविधान और संवैधानिक एजेंसियों के आदेश-निर्देश का पालन करना चाहिए. भाजपा नेता ने कहा कि ईडी संवैधानिक दायरे में ही अपना काम कर रही है, लेकिन जिन पर आरोप लगते है उन्हें लगता है कि उन्होंने गलती की है तो अब कार्रवाई भी होगी. इस डर या खौफ की वजह से नेता ईडी पर आरोप लगाने लगते हैं. भाजपा नेता ने कहा कि दरअसल हेमंत सोरेन को यह लगने लगा है कि उन्होंने गलती कर दी है और देर सबेर उन पर भी गाज गिरना तय है.
कब-कब ईडी ने भेजा मुख्यमंत्री को समनः जमीन से जुड़े मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने एक के बाद एक मुख्यमंत्री को आठ समन भेजा है. ईडी ने पहला समन 14 अगस्त 2023 को, दूसरा समन 24 अगस्त 2023, तीसरा समन 09 सितंबर,चौथा समन 23 सितंबर,पांचवा समन 04 अक्टूबर, छठा समन 12 दिसम्बर, सातवां समन 29 दिसंबर और आठवां समन ईडी ने मुख्यमंत्री को 12 जनवरी 2024 को भेजा है .