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Navratri 2023: कलश स्थापना के साथ शारदीय नवरात्रि की शुरुआत, रजरप्पा मंदिर में भक्तों का आना शुरू

शारदीय नवरात्रि की शुरुआत हो चुकी है. पहले दिन कलश स्थापना की जा रही है. रजरप्पा मंदर में भी सारी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं. लोगों के आने का सिलसिला जारी है. Shardiya Navratri at Rajrappa Temple

Shardiya Navratri worship being done with great pomp in Rajrappa temple
Shardiya Navratri worship being done with great pomp in Rajrappa temple

By ETV Bharat Jharkhand Team

Published : Oct 15, 2023, 7:40 AM IST

Updated : Oct 15, 2023, 7:56 AM IST

रजरप्पा मंदिर में शारदीय नवरात्रि की पूजा

रामगढ़ः आज (रविवार) से शरदीय नवरात्रि की शरुआत हुई है. पूरे जिले में नवरात्रि को लेकर पूजा पंडालों और मंदिरों में चहल-पहल बढ़ गई है. नवरात्रि के दौरान देश के प्रसिद्ध सिद्धपीठ मां छिन्नमस्तिका मंदिर में भक्तों के आने का सिलसिला शुरू हो गया है. शनिवार को अमावस्या की तिथि थी जिसको लेकर भक्तों की भारी भीड़ मंदिर में पहुंची और भक्त माता की पूजा अर्चना कर आशीर्वाद ले रहे थे.

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शारदीय नवरात्रि को सनातन धर्म में बेहद महत्वपूर्ण माना जाता है. एक वर्ष में चार नवरात्रि मनाई जाती है, जिसमें दो गुप्त नवरात्रि, एक चैती नवरात्रि और एक शरदीय नवरात्रि होती. शरदीय नवरात्रि की शुरुआत आश्विन मास में शुक्ल पक्ष प्रतिपदा तिथि से होती है. इस बार नवरात्रि की शुरुआत रविवार (15 अक्टूबर) से हो रही है. 23 अक्टूबर 2023 को नवरात्रि की समाप्ति होगी. वहीं 24 अक्टूबर विजयादशमी का पर्व मनाया जाएगा.

मंदिर के वरिष्ठ पुजारी सुबोध पंडा ने दी जानकारीःरजरप्पा मंदिर के वरिष्ठ पुजारी ने बताया कि नव दिनों तक सभी कुंडों में दुर्गा सप्तशती का पाठ किया जायेगा. जो भक्त अपने गुरुमंत्र या इष्ट मंत्र या यह भक्त अपने अनुकूल मंत्र का जप करेंगे, उन्गें अनुकूल फल की प्राप्ति होगी. इस साल मां दुर्गा हाथी की सवारी पर आ रही हैं. भागवत पुराण के अनुसार, जब भी माता हाथी पर सवार होकर आती हैं, तो वह अपने साथ सुख-समृद्धि और खुशहाली लेकर आती हैं. धर्म-शास्‍त्रों के अनुसार जब नवरात्रि शनिवार या मंगलवार के दिन समाप्‍त हो तो मां दुर्गा का प्रस्‍थान मुर्गे पर होता है. 9 दिनों तक भव्य गंगा आरती का भी आयोजन किया जाएगा और मंदिर को भी भव्य तरीके से सजाया जा रहा है.

रजरप्पा मंदिर टीओपी के प्रभारी उपेंद्र सिंह ने बताया कि सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. श्रद्धालुओं को किसी भी तरह की कोई परेशानी ना हो इसका ख्याल रखा जाएगा. जो भी भक्त आएंगे माता की पूजा अर्चना में उन्हें किसी भी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी. पंचांग के अनुसार शारदीय नवरात्रि की प्रतिपदा तिथि को यानी पहले दिन कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त 15 अक्टूबर को 11:44 मिनट से दोपहर 12:30 तक है. घटस्थापना तिथि रविवार 15 अक्टूबर 2023, घटस्थापना का मुहूर्त सुबह 06:30 मिनट से सुबह 08:47 मिनट तक है. अभिजित मुहूर्त सुबह 11:44 मिनट से दोपहर 12:30 मिनट तक है. अभिजित मुहूर्त में देवी की स्थापना सबसे शुभ माना जाता है.

Last Updated : Oct 15, 2023, 7:56 AM IST

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