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अधिक पका हुआ आम बेचना है प्रतिबंधित, जाना पड़ सकता है जेल, जानें क्या है कानूनी प्रावधान

जो लोग पके हुए आम खाने के शौकीन हैं, वह सावधान हो जाएं. अधिक पका हुआ फल खाना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है और साथ ही इसकी बिक्री पर भी प्रतिबंध है. ऐसे फलों को बेचने पर फल कारोबारी को लाखों रुपए की फाइन हो सकती है, साथ ही उन्हें जेल भी जाना पड़ सकता है.

mango business in palamu
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Published : Jun 8, 2023, 2:22 PM IST

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पलामू:गर्मी में लोग भले ही मौसम से खफा रहें, लेकिन इस मौसम में उन्हें एक चीज की खुशी जरूर होती है और वह है आम खाने की खुशी. गर्मी के मौसम में पूरा बाजार फलों के राजा आम से पटा हुआ होता है. लोग पके हुए आम के दीवाने हुए जाते हैं. लेकिन उनकी यही दीवानगी उनके लिए खतरा भी ले आती है. पके हुए आम खाना तो ठीक है. लेकिन अधिक पका हुआ आम खाना स्वास्थ्य के लिए खतरनाक भी है. ऐसे में अधिक पका हुआ आम खाने से परहेज करना चाहिए. साथ ही जो फल कारोबारी अधिक पका हुए आम बेचते हैं, उन्हें भी इसे बेचने से बचना चाहिए, नहीं तो वे मुश्किल में पड़ सकते हैं.

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दरअसल, अधिक पका हुआ आम या अन्य किसी भी अधिक पके हुए फल को बेचना प्रतिबंधित है और इसके तहत कड़ी सजा का भी प्रावधान है. अगर कोई फल कारोबारी ऐसे फल बेचता है और वह तीन लाख रुपये तक का कारोबार करता है तो उसके खिलाफ अधिकतम 10 लाख रुपए तक की फाइन हो सकती है. अगर फल अधिक पकने के बाद सड़ जाए, तो उसे इंजीरियस फॉर हेल्थ की श्रेणी में रखा जाता है और इसके तहत अधिकतम आजीवन कारावास की सजा का प्रावधान है.

ठेला और फल वालों के पास नहीं है सेफ्टी लाइसेंस:पलामू के विभिन्न इलाकों में ठेला पर बड़े पैमाने पर आम समेत विभिन्न फल बेचे जाते हैं. लेकिन एक भी ठेला और फल विक्रेता के पास फूड सेफ्टी का लाइसेंस नहीं है. मार्च से अगस्त के अंतिम सप्ताह तक पलामू जैसे इलाके में 30 करोड़ रुपये का आम का कारोबार होता है. पलामू में अधिकतर आम बंगाल, बिहार और यूपी के इलाके से आते हैं. जून के पहले सप्ताह से अगस्त तक बाजार में अधिक पका हुआ आम बिकता है. कई ठेलों पर खुलेआम अधिक पका हुआ आम के साथ-साथ अन्य फल भी बेचे जाते हैं. स्वास्थ्य अधिकारियों के अनुसार 27 से 30 डिग्री सेल्सियस के तापमान के बीच बैक्टीरिया तेजी से फैलता है. फल इसी तापमान में तेजी से डिकंपोज होता है, यही वजह है कि फल जरूरत से अधिक पक जाता है.

क्या है इसे रोकने की योजना:पलामू में खाद्य सुरक्षा के नोडल अधिकारी डॉ अनिल कुमार सिंह ने बताया कि आम ही नहीं अधिक पका हुआ कोई भी फल बेचना प्रतिबंधित है, क्योंकि अधिक पका हुआ फल डिकंपोज की श्रेणी में आता है. डॉ अनिल कुमार सिंह ने बताया कि मामले में विभाग कार्रवाई करेगा. अधिक पका हुआ फल बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. डिकंपोज फल या अन्य कोई भी पदार्थ खाने पर गैस्ट्रो टाइटिस समेत कई बीमारी हो सकती है. डॉक्टर अनिल कुमार सिंह बताते हैं कि ठेला लगाने वाले फल विक्रेताओं को फूड सेफ्टी का लाइसेंस दिया जाएगा. इसके लिए विशेष कैंप लगाए जाएंगे. इससे पहले ठेला वालों को नगर निगम से एक लाइसेंस भी लेना होगा. तीन लाख तक के कारोबार के लाइसेंस की फीस 100 रुपये सालाना है.

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