लोहरदगा: आम आदमी की सुरक्षा में 2 साल पहले तक तैनात रहने वाला पुलिस का जवान आज दो वक्त की रोटी भी अपने परिवार के लिए मुहैया नहीं करा पा रहा है. लाचारगी और बेबसी की जिंदगी गुजार रहा पुलिस का यह जवान दो वक्त की रोटी के लिए फरियाद लगा रहा है. वहीं, ट्विटर के माध्यम से जानकारी मिलने पर राज्य पुलिस के डीजीपी ने मामले में संज्ञान लिया और लोहरदगा पुलिस जवान के परिवार को तत्काल सहायता करने का निर्देश दिया है.
लकवा और मानसिक बीमारी ने किया लाचार
बता दें कि लोहरदगा के सदर थाना अंतर्गत बाधा गांव निवासी चंद्रपाल उरांव 2 साल पहले तक झारखंड पुलिस का जवान था, या कह सकते हैं कि आज भी है. वह जमशेदपुर में कार्यरत था. अचानक से वह लकवे का शिकार हो गया. इसके बाद मानसिक बीमारी ने भी उसे घेर लिया. मजबूरी में चंद्रपाल की पत्नी बच्चों को लेकर वापस अपने गांव अपने घर आ गई. घर की जमा पूंजी धीरे-धीरे खत्म होने लगी तो दो वक्त की रोटी के लिए भी परेशानी खड़ी हो गई. पहले तो बच्चे प्राइवेट स्कूल में पढ़ते थे, बाद में उन बच्चों की पढ़ाई भी छूट गई. फिलहाल बच्चे घर में ही हैं.
वेतन नहीं मिलने के कारण परिवार दाने-दाने के लिए मोहताज