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अब आसानी से नहीं बनाए जा सकेंगे पंडाल, इनसे अनुमति लेना हुआ अनिवार्य

राजस्थान के बाड़मेर में राम कथा के दौरान हुए हादसे के बाद जमशेदपुर जिला प्रशासन काफी सजग हो गया है. पूजा-पंडालों को लेकर एसडीओ के द्वारा कई दिशा-निर्देश जारी किए हैं.

एसडीओ चंदन कुमार

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Published : Jul 14, 2019, 12:56 PM IST

Updated : Jul 14, 2019, 1:39 PM IST

जमशेदपुर: राजस्थान के बाड़मेर में राम कथा के दौरान अचानक आए आंधी-तूफान के बाद पंडाल गिरने की घटना से जमशेदपुर जिला प्रशासन काफी सजग हो गया है. इस प्रकार की घटना दुबारा ना हो उसके लिए जिला प्रशासन के द्वारा कई कारगर कदम उठाए गए हैं साथ ही एसडीओ द्वारा दिशा-निर्देश भी जारी किये गए हैं.

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इस संबध में धालभूम के एसडीओ चंदन कुमार ने बताया कि राजस्थान की घटना के बाद जिला प्रशासन ने प्रवचन, मेले और बड़े आयोजनों में बनने वाले पंडालों की सख्त जांच करेगा. उन्होंने यह भी कहा कि आयोजन के लिए पंडाल बनाने से पहले अग्निशामक विभाग, संबधित थाने और स्थानीय निकाय से भी अनुमति लेनी होगी.

रिपोर्ट सही पाए जाने पर मिलेगी अनुमति

एसडीओ ने दिशानिर्देश जारी करते हुए कहा कि आयोजन से पहले आयोजकों से आतिशबाजी, ज्वलनशील पदार्थ के भंडार और उसके इस्तेमाल समेत कई बिंदुओं पर अंडरटेकिंग स्वरूप आवेदन ली जाएगी तथा सभी रिपोर्ट में सही पाए जाने पर ही आयोजकों को कार्यक्रम करने की अनुमति दी जाएगी.

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क्या हुआ था राजस्थान में

23 जून को राजस्थान के बाड़मेर में राम कथा के दौरान अचानक हुई बारिश और तूफान आने से पंडाल गिर गया था. जिसमें13 लोगों की मौके पर मौत हो गई थी. जबकि 45 लोग से अधिक घायल हो गए थे. हादसा उस समय हुआ था जब पंडाल में काफी संख्या में लोग प्रवचन सुन रहें थे.

Last Updated : Jul 14, 2019, 1:39 PM IST

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