दुमका: उपराजधानी में सड़क यातायात की भूमिका काफी महत्वपूर्ण है. यहां की सीमा एक तरफ पश्चिम बंगाल से जुड़ती है तो दूसरी तरफ बिहार से. इस शहर से दोनों ही राज्यों में कारोबार सड़क मार्ग से ही होती है, लेकिन यहां की सभी सड़कें बेहद बदतर हालत में हैं, जिससे गाड़ियों के आवागमण में काफी परेशानी होती है और हमेशा दुर्घटना की आशंका बनी रहती है.
सड़कों की है बदहाल स्थिति
दुमका के सड़कों की स्थिति काफी बदहाल हो चुकी है. पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिला से जो वाहन देवघर या भागलपुर जाते हैं, उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना होता है. एक घंटा का सफर तय करने में चार घंटे लग जाते हैं. दुमका से देवघर को जोड़ने वाली सड़क अत्यंत बदहाल हो चुकी है. सड़कों पर बड़े-बड़े गड्ढे हैं. अभी बारिश के मौसम में इन गड्ढों में पानी भर गया है, जिससे चालक को यह पता नहीं चल पाता है कि गड्ढे की गहराई कितनी है. ऐसे में हमेशा दुर्घटना की संभावना बनी रहती है. वही हाल दुमका-भागलपुर मार्ग का भी है. दुमका से जो सड़क जामताड़ा और पश्चिम बंगाल के आसनसोल की ओर जाती है, उसके बीच जो विजयपुर का पुल है वह भी बिल्कुल खराब हो चुका है. अगर साहिबगंज-गोविंदपुर की बात करें तो, दुमका से पाकुड़ जाने वाली सड़क भी अत्यंत जर्जर हो चुकी है. जरमुंडी बाजार में तो पुल पर बड़ा गड्ढा हो गया है, जो कभी भी किसी की जान ले सकता है.
ये भी पढ़ें-सास और बहू ने मिलकर बनाया 'गुरु चेला' एप, शिक्षकों और छात्रों की राह की आसान