क्या कहते हैं ग्रामीण और अधिकारी धनबादःनिरसा विधानसभा के एग्यारकुण्ड प्रखंड के गोपालपुर पंचायत में स्वास्थ्य उपकेंद्र बनाया गया, ताकि ग्रामीणों को छोटे-मोटे इलाज के लिए भटकना नहीं पड़े. लेकिन इस स्वास्थ्य उपकेंद्र से ग्रामीण को लाभ नहीं मिल रहा है. स्थिति यह है कि स्वास्थ्य केंद्र से मेडिकल स्टाफ नदारत रहते हैं. इससे मामूली इलाज के लिए भी गोपालपुर पंचायत के लोगों को निजी चिकित्सकों का सहारा लेना पड़ रहा है.
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ग्रामीणों ने बताया कि महीनों से स्वास्थ्य उपकेंद्र का ताला नहीं खुला है. इसका अंदाजा उपकेंद्र परिसर में फैली गंदगी और जंगल झाड़ी से लगा सकते हैं. उन्होंने कहा कि बीमार ग्रामीणों का इलाज तो दूर, नियमित साफ सफाई नहीं होती है. मेंटेनेंस के अभाव में स्वास्थ्य उपकेंद्र की बिल्डिंग जर्जर हो गया है. स्थिति यह है कि स्वास्थ्य उपकेंद्र के चारों ओर गंदगी का अंबार लगा है.
ग्रामीण सपन नाग ने बताया कि कभी 5-10 मिनट के लिए केंद्र खुला तो इसकी जानकारी किसी को नहीं होती है. उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य उपकेंद्र कब खुला और कब बंद हुआ. मेंटेनेंस को लेकर विभाग से फंड मिला या नहीं. इसकी जानकारी पंचायत के मुखिया को भी नहीं रहता है. मुखिया ने इसकी शिकायत भी की है. लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई.
निरसा सीएचसी प्रभारी डॉ पुष्पा ने बताया कि स्वास्थ्य उपकेंद्र पर दो एएनएम की प्रतिनियुक्ति की गई है. इसमें एक एएनएम को दो केंद्रों की जिम्मेदारी दी गई है. उन्होंने कहा कि स्टाफ की कमी है. लेकिन स्वास्थ्य केंद्र को नियमित रूप से खोलना है. इसमें किसी स्तर पर अनदेखी की जा रही है तो कार्रवाई की जाएगी. बीडीओ विनोद कर्मकार ने कहा कि गोपालपुर उपस्वास्थ्य केंद्र की जानकारी मिली है. उन्होंने कहा कि लोगों को स्वास्थ्य सुविधा मिले. इसको लेकर समुचित व्यवस्था करने का निर्देश दिया है.