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धनबाद: कोचिंग संचालकों ने सरकार से राहत देने की मांग, कहा- भुखमरी के कगार पर हैं हम

धनबाद के प्राइवेट कोचिंग संचालकों ने सरकार से मदद की अपील की है. कोचिंग संचालकों ने कहा कि इस कोरोना काल से उनके सामने भुखमरी की स्थिति उत्पन्न हो गई है.

Coaching operators demanded relief from the government in dhanbad
कोचिंग संचालक

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Published : Jun 12, 2020, 12:31 PM IST

धनबाद: वैश्विक महामारी कोरोना पूरे विश्व में कोहराम मचा कर रखा है. लॉकडाउन अवधि के लगभग 3 महीने पूरे हो चुके हैं जिससे लोग काफी परेशान हैं. लोगों को भी समझ में नहीं आ रहा है क्या करें. जिले में प्राइवेट कोचिंग संचालकों का कहना है कि वह भुखमरी के कगार पर आ चुके हैं इसीलिए उन्होंने सरकार से राहत देने की मांग की है.

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प्राइवेट ट्यूशन और कोचिंग संचालकों ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से सरकार से यह अपील की है कि सरकार सभी के बारे में ध्यान दे. सरकारी शिक्षकों को तो वेतन मिल जा रहा है सभी दुकानें भी लगभग खुल गई हैं, लेकिन प्राइवेट ट्यूशन और कोचिंग का संचालन कर अपनी जीविका चला रहे शिक्षकों के बारे में सरकार कोई दिशा-निर्देश नहीं दे रही है. जिससे लोगों के सामने भुखमरी की समस्या उत्पन्न हो गई है. किराए पर रहने वाले लोग मकान मालिक को किराया भी नहीं दे पा रहे हैं.

संचालकों ने कहा कि जिले में लगभग 5000 से ज्यादा ऐसे प्राइवेट शिक्षक हैं जो ना ही किसी स्कूल में और ना ही कहीं दूसरी जगह कार्यरत हैं, वह कोचिंग और ट्यूशन पढ़ा कर अपना घर चलाते हैं. लेकिन लॉकडाउन से उनके सामने भुखमरी की स्थिति उत्पन्न हो गई है. उन्होंने सरकार से मांग की है कि उन लोगों के बारे में भी विचार करें. सरकार के जो भी दिशा-निर्देश होंगे उसका पालन किया जाएगा और उसी के तहत कोचिंग का संचालन होगा.

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संचालकों का कहना है कि कम से कम सीनियर सेक्शन के बच्चों को ट्यूशन देने की छूट दी जाए जूनियर सेक्शन के बच्चे छोटे होते हैं इसीलिए उनकी डिमांड भी नहीं की जा रही है. कोचिंग संचालकों ने कहा कि भुखमरी की स्थिति में मरने से ज्यादा अच्छा कोरोना की मौत मरना है.

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