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हरियाणा की खाप पंचायतों का धरने पर बैठे पहलवानों को समर्थन, निष्पक्ष जांच और दोषी पर सख्त कार्रवाई की मांग - बृजभूषण शरण अध्यक्ष कुश्ती महासंघ

तीसरे दिन भी दिल्ली में पहलवानों का प्रदर्शन जारी है. इस बीच हरियाणा की खाप पंचायतों ने पहलवानों को समर्थन दिया है. खाप पंचयातों के सदस्यों का कहना है कि इस मामले में निष्पक्ष जांच होनी चाहिए. जो भी दोषी हो उसपर कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए.

khap panchayat supports wrestler
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Published : Jan 20, 2023, 1:47 PM IST

हरियाणा की खाप पंचायतों का धरने पर बैठे पहलवानों को समर्थन, निष्पक्ष जांच और दोषी पर सख्त कार्रवाई की मांग

सोनीपत: हरियाणा की खाप पंचायतों ने दिल्ली जंतर मंतर पर धरने पर बैठे पहलवानों को समर्थन दिया है. सोनीपत में अहलावत और दहिया खाप के प्रतिनिधियों ने पहलवानों का समर्थन किया है. उन्होंने कहा कि पूरे मामले में निष्पक्ष जांच होनी चाहिए. धरने पर बैठे पहलवानों की बात को केंद्र जल्द से जल्द सुनें और जो पूरे मामले में दोषी हो उसके खिलाफ कार्रवाई करते हुए सजा दी जाए.

दिल्ली जंतर मंतर पर ओलंपियन से लेकर अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में देश का प्रतिनिधित्व करने वाले पहलवान धरने पर बैठे हैं. पहलवानों की मांग है कि भारतीय कुश्ती संघ के अध्यक्ष बृजभूषण सिंह इस्तीफा दें. जब तक वो इस्तीफा नहीं देंगे, पहलवानों का धरना इसी तरह जारी रहेगा. महिला पहलवानों ने बृजभूषण पर यौन शोषण का आरोप लगाया है. पहलवानों के धरने को देश का हर तबका समर्थन दे रहा है. हरियाणा की खाप पंचायत ने भी इन पहलवानों का समर्थन किया है.

जहां कुछ खाप आज जंतर मंतर के लिए रवाना हो गई हैं. वहीं सोनीपत से अहलावत और दहिया खाप पंचायतों का पहलवानों को समर्थन मिला है. दोनों खापों के प्रतिनिधियों का कहना है कि पूरे मामले में निष्पक्ष जांच होनी चाहिए. चाहे कितना ही बड़ा अधिकारी या दबंग आदमी क्यों ना हो. पूरे मामले में केंद्र को हस्तक्षेप करते हुए कार्रवाई करनी चाहिए. मामले में अहलावत और दहिया खाप के प्रतिनिधियों का कहना है कि हमारे पहलवान लगातार जंतर मंतर पर धरना दे रहे हैं.

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पहले हरियाणा और केंद्र से जो मामला सामने आया है, ये बहुत गलत है. हम अपने खिलाड़ियों का मनोबल नहीं टूटने देंगे. इस मामले में चाहे कितना भी बड़ा अधिकारी और दबंग आदमी क्यों ना हो उसकी जांच होनी चाहिए. खिलाड़ियों को बहुत आगे तक जाना है और ऐसे मामले खेल को बदनाम कर रहे हैं. खिलाड़ी जो मांग कर रहे हैं उसी आधार पर जांच होनी चाहिए, ताकि भविष्य में ऐसा ना हो. वहीं खिलाड़ियों के धरने को देखते हुए केंद्र को हस्तक्षेप करना चाहिए और इस मामले में जो भी दोषी है. उसके खिलाफ कार्रवाई करते हुए उसे सजा दी जाए ताकि, भविष्य में आगे ऐसा कुछ ना हो.

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