करनाल:हरियाणा सरकार की तरफ से भले ही बड़े-बड़े दावे किए जा रहे हो कि प्रदेश की मंडियों में गेहूं की खरीद बहुत अच्छे तरीके से हो रही है, लेकिन इसकी जमीनी हकीकत कुछ और ही है.
शनिवार को किसान अपनी गेहूं की ट्रॉली लेकर मंडी में पहुंचे लेकिन उनकी एंट्री नहीं हो पाई, क्योंकि किसान के फोन पर कोई मैसेज नहीं आया था. जिसके बाद अनाज मंडी के अंदर मार्किट कमेटी के दफ्तर के बाहर किसानों एकत्रित होकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और वहीं धरने पर बैठ गए. इस दौरान किसानों ने गेंहू से भरी ट्रॉली को वहीं दफ्तर के बाहर ही खाली कर दिया.
गेट पास ना मिलन पर गुस्साए किसानों ने अनाज मंडी में दिया धरना, दफ्तर के बाहर ही उतारे गेंहू ये भी पढ़ें:किसानों का खौफ! पुलिस की 22 कंपनियां, 23 ड्यूटी मजिस्ट्रेट, फिर भी सीएम को रद्द करना पड़ा गोहाना दौरा
किसानों की मांग है कि अगर उनकी फसल तैयार है तो किसी भी दिन मंडी में किसानों को आने दिया जाए, क्योंकि बहुत से ऐसे किसान है जिनको मैसेज चला गया है लेकिन उनकी फसल तैयार नहीं है, वहीं जिनकी फसल कटकर तैयार है उन्हें मैसेज नहीं आया है. किसानों ने कहा कि उनकी फसल तैयार है और अब खेत में आग लगने का डर भी बना रहता है. किसानों ने कहा कि हमारी इस मांग को प्रशासन और सरकार को मानना पड़ेगा, वरना अपना प्रदर्शन रोजाना करेंगे.
ये भी पढ़ें:रोहतक में लाठीचार्ज से भड़के किसान, नेताओं के खिलाफ नई जंग पर महापंचायत आज
किसानों का कहना है कि मेरी फसल, मेरा ब्योरा पोर्टल पर भी रजिस्ट्रेशन करने के बाद ये समस्या आ रही है. ऐसे में किसानों की समस्या सरकार और प्रशासन को समझनी चाहिए वरना मंडी अभी बिल्कुल खाली और आने वाले दिनों में मंडी में एक दम से ज़्यादा संख्या में ट्रॉलियां पहुंचेगी, जिससे व्यवस्था चरमरा जाएगी.