डीसीपी के यह तीन टिप्स मेट्रो यात्रियों को बनाएंगे सुरक्षित, अपराध 60 फीसदी हुए कम
अगर आप भी कभी दिल्ली में मेट्रो में सफर करते वक्त अपराध का शिकार हुए है तो ये खबर आपके लिए हैं. इस खबर में जानिए ऐसी तीन सेफ्टी टिप्स जिससे आप खुद को अपराध से बचा सकते है.
60 percent crime decrease in metro
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Published : Feb 25, 2021, 1:59 PM IST
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Updated : Feb 25, 2021, 5:11 PM IST
नई दिल्ली:मेट्रो में सफर के दौरान अगर आप पुलिस अधिकारी द्वारा बताए गए तीन सेफ्टी टिप्स का ध्यान रखते हैं तो आप अपराध का शिकार होने से बच सकते हैं. मेट्रो पुलिस के प्रयास से वर्ष 2021 में अभी तक अपराध में 60 फीसदी से ज्यादा की कमी आई है. वहीं वारदात सुलझाने के मामले में बीते वर्षों के मुकाबले मेट्रो पुलिस को ज्यादा कामयाबी मिली है. मेट्रो पुलिस ने लोगों से भी अपील की है कि वह सफर के दौरान सतर्क रहें ताकि अपराधी उन्हें शिकार न बना सकें.
मेट्रो में यह टिप्स आपको रखेंगी सुरक्षित
मुख्य रूप से तीन तरह के अपराधों को देते अंजाम
डीसीपी जितेंद्र मणि ने बताया कि मेट्रो में मुख्य रूप से तीन तरह के अपराधों को अंजाम दिया जाता है. इनमें से पहला अपराध है चोरी. ऐसा देखने में आता है कि मेट्रो में यात्रियों की जेब या बैग से सामान चोरी की वारदातों को पीक ऑवर में अंजाम दिया जाता है. खासतौर से भीड़भाड़ वाले मेट्रो स्टेशन पर ऐसी वारदातें ज्यादा होती हैं. इन वारदातों को रोकने के लिए भीड़भाड़ वाले मेट्रो स्टेशनों पर पीक आवर के दौरान पुलिसकर्मी तैनात किए जाते हैं. उन्होंने लोगों को सलाह दी है कि मेट्रो सफर के दौरान अगर कोई उन्हें धक्का दे या कुछ लोग उनके पास घेरा बना लें तो तुरंत सावधान हो जाएं. यह लोग चोर हो सकते हैं. इनमें महिला गैंग भी शामिल हैं. शक होने पर तुरंत इसकी जानकारी पुलिस को दें ताकि उन्हें पकड़ा जा सके.
इतने सालों में मेट्रो में इतने मामले सुलझे
साल
अपराध
मामले सुलझे
2019
1140
23 फीसदी
2020
1130
30 फीसदी
2021
360
70 फीसदी
ऑनलाइन ट्रांजेक्शन करने से बचें डीसीपी जितेंद्र मणि ने बताया कि लॉक डाउन के बाद जब मेट्रो सेवा बहाल हुई तो इसमें ऑनलाइन ट्रांजेक्शन के बहाने लोगों से ठगी के मामले बढ़ने लगे. अलग-अलग बहानों से जालसाज यात्रियों को अपनी बातों में फंसाकर उनके मोबाइल ऐप, डेबिट कार्ड आदि से रुपये अपने खाते में ट्रांसफर कर लेते हैं. ऐसे कुछ गैंग का पुलिस द्वारा पर्दाफाश भी किया गया है. डीसीपी जितेंद्र मणि की तरफ से लोगों को सलाह दी गई है कि वह मेट्रो यात्रा के दौरान किसी भी अन्य व्यक्ति के कहने पर ऑनलाइन ट्रांजेक्शन न करें. आप केवल अपना कार्ड रिचार्ज कराने के लिए वहां मौजूद डीएमआरसी कर्मचारी के कहने पर ही ऑनलाइन ट्रांजेक्शन करें. अगर कोई आपको अपनी बातों में फंसाकर ऑनलाइन ट्रांजेक्शन की बात कहे तो तुरंत इसकी जानकारी पुलिस को दें.
नोटों की गड्डी का लालच पड़ सकता है भारी डीसीपी जितेंद्र मणि ने बताया कि मेट्रो के अंदर नकली नोटों की गड्डी दिखाकर भी लोगों से ठगी की जाती है. बातों में फंसाकर सीधे दिखने वाले यात्रियों को नोटों की गड्डी थमा दी जाती है और इसके बदले में उनके पास मौजूद नकदी, आभूषण एवं अन्य सामान ले लिया जाता है. बाद में वह जब गड्डी खोलकर देखते हैं तो उसमें केवल कोरे कागज या अखबार की कतरन भरी होती है. उन्होंने मेट्रो यात्रियों से अपील की है कि वह किसी से भी नोटों की गड्डी लेने के झांसे में न फंसे. इस लालच में आप अपना सामान एवं रुपये गंवा सकते हैं.