नई दिल्ली: 1658 ई. में शाह तुर्कमान के नाम पर स्थापित तुर्कमान गेट दिल्ली के प्राचीन धरोहरों में से एक है. लेकिन प्रशासनिक उदासीनता के कारण लाल और सफेद बलुआ पत्थर से निर्मित तुर्कमान गेट आज अपनी बदहाली पर आंसू बहा रहा है.
सरकार की अनदेखी का शिकार हुआ तुर्कमान गेट, बना जुआरियों का अड्डा
तुर्कमान गेट अधिकारियों की अनदेखी के कारण प्रशासनिक उदासीनता का शिकार हो रहा है. यहां दिनभर असामाजिक तत्वों का जमावड़ा लगा रहता है.
अधिकारियों की अनदेखी के कारण दिनभर यहां असामाजिक तत्वों का जमावड़ा लगा रहता है और रही सही कसर ऑटो और टैक्सी वालों ने पूरी कर दी है.
असामाजिक तत्वों का लगा रहता है जमावड़ा
तुर्कमान गेट के उचित रखरखाव के लिए लंबे समय से प्रयासरत नमो पहलवान ने बताया कि दिन भर यहां असामाजिक तत्वों का जमावड़ा लगा रहता है. जिस कारण पर्यटक यहां आने से कतराते हैं. इसके अलावा मुख्य गेट के ठीक सामने ऑटो वालों ने अवैध स्टैंड बना रखा है. जिस कारण यहां दिनभर जाम लगा रहता है. इस संबंध में कई बार अधिकारियों से संपर्क किया गया इसके बावजूद अभी तक इस दिशा कोई काम नहीं किया गया. जिस कारण तुर्कमान गेट दिन प्रतिदिन अपनी रंगत खो रहा है.