नई दिल्ली: अखिल भारतीय रेलवे खान-पान वेलफेयर एसोसिएशन ने उत्तर रेलवे का ध्यान लाइसेंसी वेंडरों की ओर खींचा है. एसोसिएशन के अध्यक्ष रविंदर गुप्ता ने पत्र लिखकर उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक से अपील की है कि भुखमरी के शिकार लाइसेंसी वेंडरों के लाइसेंस को कानूनी उत्तराधिकारी के नाम स्थानांतरित किया जाए. इससे कोरोना काल में परेशान वेंडरों की परेशानी कम होगी.
'लाइसेंस लेने के लिए काट रहे चक्कर'
एसोसिएशन के अध्यक्ष रविंदर गुप्ता ने बताया कि रेलवे बोर्ड द्वारा केटरिंग सी 2010 और 2017 में किए गए प्रावधानों के अनुसार भारतीय रेल के सभी मंडलों में कानूनी उत्तराधिकारियों के नाम लाइसेंस स्थानांतरित किए जा रहे हैं. लेकिन उत्तर रेलवे के दिल्ली मंडल में लइसेंसियो की मृत्यु के बाद नियुक्ति कानूनी उत्तराधिकारी के नाम लाइसेंस स्थानांतरित नहीं किया गया है.
जबकि नियुक्त कानूनी उत्तराधिकारी अपने नाम लाइसेंस स्थानांतरण के लिए प्रार्थना पत्र काफी पहले दे चुके हैं. वह प्रार्थना पत्र महाप्रबंधक के कार्यालय में 8-9 महीने से लंबित हैं. इसे पाने के लिए प्रभावित परिवार महाप्रबंधक के चक्कर काट रहे हैं.
'कोरोना काल में बढ़ी परेशानी'