पलामूः झारखंड की बेटी ने नेशनल गेम्स में कांस्य पदक जीता और पलामू के साथ साथ पूरे राज्य का नाम रोशन किया. लॉन बॉल खिलाड़ी अन्नू सेठ अनवरी ने काफी संघर्ष के बाद ये मुकाम हासिल किया है. उनका सपना है कि वो ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीते और पलामू के साथ साथ पूरे देश का नाम रोशन करे.
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कहते हैं कि जो संघर्ष में तपता है वही इतिहास गढ़ता है. कड़ी मेहनत के बाद जो कहानी लिखी जाती है वो देश और दुनिया के लिए मिसाल बन जाती है. खास कर तब जब आपके लिए बाधाएं खड़ी की जाए और इन बाधाओं के बाद आपको सफलता मिले. पलामू की बेटी अन्नू सेठ अनवरी की संघर्ष भरी एक लंबी दस्तान है. किस तरह उनकी मेहनत को राख में मिला दिया गया था लेकिन उन्होंने हौसला नहीं हारा और देश के युवाओं के लिए प्रेरणा बन गई हैं.
पलामू की अन्नू सेठ अनवरी ने 37वें नेशनल गेम्स में कांस्य पदक जीता है. अन्नू सेठ अनवरी लॉन बाल की अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी रही हैं. गोवा में 37वें नेशनल गेम्स में अन्नू सेठ अनवरी झारखंड टीम का हिस्सा रहीं और लॉन बॉल में कांस्य पदक जीता. अन्नू सेठ अनवरी के साथ इस टीम में धनबाद की फरजाना खान और देवघर की छोटी कुमारी भी थीं. लॉन बॉल में टीम झारखंड ने मणिपुर को 20-11 के स्कोर से मात दिया और कांस्य पदक जीता. अनवरी फिलहाल गोवा में हैं और ओलंपिक की तैयारी कर रही हैं, जल्द ही वो रांची लौटने वाली हैं.
जीवन के संघर्षों के बीच भी जीते कई मेडलः अन्नू सेठ अनवरी पलामू के मेदिनीनगर की रहने वाली हैं. 2014 तक वह लॉन बॉल में श्रीलंका, मलेशिया, भूटान, समेत कई देशों का दौरा कर कई मेडल जीतीं. जीवन में उतार चढ़ाव के कारण वो खेल से दूर हो गई थीं, उनके सर्टिफिकेट और मेडल जला दिए गए थे. इस घटना के बाद अधिकतर लोग ये मान चुके थे कि अनवरी इस दुनिया में नही हैं. इस घटना के काफी दिन बाद उन्होंने दोबारा हिम्मत जुटाकर खेल के मैदान का रूख किया.
30 वर्षीय अन्नू सेठ अनवरी ने 2018 में एक बार फिर से खेलना शुरू किया. 2019 में वह असम में आयोजित लॉन बॉल के नेशनल टूर्नामेंट में रजत पदक जीता था. इस दौरान उन्हें एक पांच महीने की बच्ची भी थी. अनवरी के तीन बच्चे हैं और नेशनल गेम्स के अवार्ड समारोह के दौरान पति मौजूद थे. अनवरी ने ईटीवी भारत को बताया कि फिर से उसने खेलना शुरू किया है, उनके पति सेठ कुमार उनकी काफी मदद कर रहे हैं और हर कदम पर साथ दे रहे हैं, लॉन बॉल के कोच का काफी सहयोग मिल रहा है. उनका सपना है कि वह ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीतकर पलामू और देश का नाम रौशन करे. पति ने उन्हें दोबारा खेल शुरू करने के लिए प्रेरित किया है.