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जानें क्यों मोदी सरकार के मंत्री और भाजपा सांसद पैसे देकर लेंगे वैक्सीन

देशभर में कोरोना टीकाकरण अभियान का दूसरा चरण आज शुरू हुआ. प्रधानमंत्री, उपराष्ट्रपति समेत अन्य लोगों कोरोना के टीके की पहली खुराक ली. पीएम मोदी के वैक्सीन लेने के बाद अब 60 साल से ऊपर के अन्य सभी मंत्री और सांसद-विधायक भी टीके लेने की तैयारी में है. इसी बीच भाजपा ने भी सांसदों-विधायकों को मुफ्त में वैक्सीन लेने की जगह 250 रुपये भुगतान कर टीका लगवाने की अपील की है. विस्तार से पढ़ें पूरी खबर...

मोदी सरकार
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Published : Mar 1, 2021, 7:41 PM IST

नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सोमवार को वैक्सीन लेने के बाद अब 60 साल से ऊपर के अन्य सभी मंत्री और सांसद-विधायक भी टीके लेने की तैयारी में है. मोदी सरकार के मंत्रियों ने कीमत देकर वैक्सीन लेने का निर्णय लिया है. केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने इसका एलान किया है. उधर, भाजपा ने भी सभी सांसदों-विधायकों को मुफ्त में वैक्सीन लेने की जगह 250 रुपये भुगतान कर टीका लगवाने की अपील की है.

दरअसल, सरकारी अस्पतालों में मुफ्त में टीका लग रहा है, जबकि प्राइवेट अस्पतालों में 250 रुपये में टीकाकरण हो रहा है. मोदी सरकार के मंत्रियों का मानना है कि जनप्रतिनिधियों को सरकारी अस्पतालों में मुफ्त टीका लेने की जगह 250 रुपये देकर लगवाना चाहिए.

इससे समाज के सक्षम लोग भी पैसे देकर टीका लगवाने के लिए प्रेरित होंगे, जिससे सरकार पर मुफ्त टीके का भार कम होगा. वहीं सरकारी अस्पतालों में जरूरतमंदों को टीका लगने में आसानी होगी.

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भारतीय जनता पार्टी ने टीकाकरण के लिए योग्य अपने सभी सांसदों और विधायकों को संबंधित चुनावी क्षेत्र में टीके लगवाने की अपील की है. ताकि स्थानीय जनता में टीके के विश्वसनीय होने का संदेश जाए और टीकाकरण अभियान में तेजी आए.

भाजपा के एक राष्ट्रीय पदाधिकारी ने कहा कि मोदी सरकार ने एलपीजी सब्सिडी का भार कम करने के लिए पहले कार्यकाल में 'गिव इट अप' कैंपेन चलाया था. लाखों सक्षम लोगों ने पीएम मोदी की एक अपील पर एलपीजी सब्सिडी छोड़ दी थी. ठीक उसी तर्ज पर सरकार के मंत्री और पार्टी के सांसद-विधायक मुफ्त की जगह पैसे देकर टीका लगवाकर समाज के सक्षम लोगों को भी प्रेरित करेंगे, ताकि मुफ्त टीके का भार सरकार पर कम पड़े और जरूरतमंदों के लिए इसका बेहतर इस्तेमाल हो.

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