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जानें, जफर सरेशवाला ने क्यों कहा- मोदी के बारे में भ्रम था

पीएम मोदी के करीबियों में से एक हैं जफर सरेशवाला, वह मौलाना आजाद उर्दू यूनिवर्सिटी के पूर्व वीसी हैं. पीएम मोदी से जुड़े कई पहलुओं पर सरेशवाला ने ईटीवी भारत से बात की..

जफर सरेशवाला.

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Published : Aug 31, 2019, 7:13 PM IST

Updated : Sep 29, 2019, 12:00 AM IST

नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के सबसे करीबी मुस्लिम मित्रों में से एक नाम जफर सरेशवाला का है. वह मौलाना आजाद उर्दू यूनिवर्सिटी के पूर्व वीसी हैं. मोदी के बारे में वह क्या सोचते हैं, किस तरह से उनकी पहली मुलाकात हुई और आज वो मोदी को किस तरह देखते हैं, इस पर उन्होंने ईटीवी भारत से विस्तार से बातचीत की है. आइए जानते हैं मोदी पर उन्होंने क्या कहा.

जफर सरेशवाला से ईटीवी भारत की बातचीत.

क्या कहा जफर सरेशवाला ने...

  • मैंने मोदी को अपने मुख्यमंत्री के रूप में देखा
  • बाद में मुझे लगा कि इसी व्यक्ति को देश का पीएम होना चाहिए
  • मुसलमानों को मोदी के बारे में भ्रम था, इसे दूर करना जरूरी था
  • गुजरात में 2002 से पहले भी कई दंगे हुए थे
  • 1969 में बहुत ही भयानक दंगा फैला था
  • सिर्फ अहमदाबाद में 5000 से अधिक मुस्लिम मारे गए थे
  • उसके बाद दंगों का सिलसिला जारी रहा
  • दंगों का असर अलग-अलग था
  • गुजरात में यह कोई नया दंगा नहीं था
  • अंतर सिर्फ यही था कि 2002 में भाजपा की सरकार थी
  • इससे पहले सभी दंगे कांग्रेस काल में हुए थे
  • कर्फ्यू हटाने के बाद वहां कैसी स्थिति रहती है, यह महत्वपूर्ण होता है
  • दंगों के बाद कांग्रेस का मुस्लिम चेहरा उस समुदाय के बीच पहुंच जाता था
  • भाजपा में मुस्लिम चेहरा था ही नहीं
  • 50 लाख मुसलमानों की जिंदगी दांव पर लगी है
  • किसी न किसी को राब्ता बनाना पड़ेगा
  • मोदी के पास पहुंचने की यह सबसे बड़ी वजह थी
  • मैंने ईमानदारी से लड़ाई भी लड़ी, ताल्लुक भी ईमानदारी से कायम किया
  • मोदी के साथ निजी लड़ाई नहीं थी
  • हर दंगों में मेरा परिवार प्रभावित होता था
  • 2002 में भी सबसे ज्यादा माली नुकसान मेरे परिवार को हुआ
  • अपराध करने वाला हमेशा बच जाता है
  • हमने कभी नहीं कहा कि मोदी दंगों के जिम्मेदार हैं
  • हम चाहते थे कि एक सीएम के रूप वे अपनी जवाबदेही स्वीकार करें
  • मैंने लंदन हाईकोर्ट में आडवाणी के खिलाफ भी याचिका दायर की थी
  • ब्रिटेन ने नेशन ऑफ इस्लाम के नेता लुइस फाराखान पर बैन लगा दिया था
  • हमने आडवाणी को ज्यादा खतरनाक माना था
  • आडवाणी ग्रीस से सीधे लंदन आने वाले थे
  • मेरी याचिका के बाद वो वापस लौट गए
  • उन्होंने लंदन का दौरा किया, मेरी याचिका रद्द हो गई
  • हम उनसे मिले, मुझे लगा हम किससे लड़ रहे हैं ?
  • मैंने निजी तौर पर हस्तलिखित याचिका सौंपी थी
  • मैंने 2002 में याचिका दी थी
  • 2003 में मोदी वाइब्रेंट गुजरात के लिए इंगलैंड आए थे
  • लोगों ने मुझे कहा सिर्फ आप ही मोदी से मिल सकते हो
  • कोई निजी झगड़ा नहीं था, मैं एक्टिविस्ट की तरह भी नहीं था
  • हम मसले के हल के लिए लड़ रहे थे
  • हमें लगा कि बातचीत से मुद्दे को सुलझाया जा सकता है
  • हमने महेश भट्ट से बात की, वे हमारे आंदोलन के सहयोगी थे
  • मेरे वालिद ने कहा था कि सुझाव हमेशा ईमानदारी से देना चाहिए
  • भट्ट ने बड़ी अजीब बात कही
  • आखिरकार एक वक्त आएगा, जब मोदी के साथ बैठकर बात करनी होगी
  • अंततः दुनिया के सभी संघर्ष बातचीत के टेबल पर ही समाप्त होते हैं
  • आज ही क्यों नहीं मुलाकात कर मुद्दे को सुलझा लो
  • मुझे बड़ी हिम्मत आई
  • मैंने इस्लामिक विद्वान से मुलाकात की
  • मैंने उसने इस्लामिक राय मांगी, मुस्लिमों की राय नहीं मांगी
  • दोनों विद्वानों ने मोदी से मुलाकात पर सकारात्मक राय दी
  • अंत में मैंने मोदी से मिलने के लिए अपनी राय कायम कर ली
Last Updated : Sep 29, 2019, 12:00 AM IST

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