सीतामढ़ी : भारत-नेपाल तनाव के बीच नेपाल पुलिस द्वारा फायरिंग की घटना से बिहार में सीतामढ़ी के लालबांडी गांव के लोग दहशत में हैं. स्थानीय लोगों की माने तो स्थिति काफी तनावपूर्ण है. लोग भविष्य की चिंता कर डर रहे हैं.
इसी तरह की भावनाओं को बताते हुए एक स्थानीय निवासी ने कहा कि हालात बदल गए हैं. लोग डरे हुए हैं. पहले लोग अपने रिश्तेदारों से मिलने नेपाल सीमा से सटे इलाकों में चले जाते थे, लेकिन अब ऐसा नहीं है.
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गौरतलब है कि भारत-नेपाल सीमा पर शुक्रवार को भारतीयों पर गोलीबारी की एक अभूतपूर्व घटना हुई, जब नेपाली पुलिस ने उन पर गोलियां चलाईं. इस घटना में एक व्यक्ति की मौत भी हो गई थी.
सीमा पर गोलीबारी के बाद नेपाली सेना द्वारा हिरासत में लिए गए लगन किशोर शनिवार को रिहा हुए और फिर सीतामढ़ी लौट आए.
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इससे पहले भी स्थानीय लोगों ने अपना दर्द बयां किया था. स्थानीय लोगों ने घटना और नेपाल पुलिस के व्यवहार पर निराशा व्यक्त की थी.
एक स्थानीय निवासी अजीत कुमार ने कहा कि वह इस बात से हैरत में हैं कि आखिर नेपाल पुलिस ने ऐसा किया क्यों? अगर यह जारी रहा, तो सीमा क्षेत्र के लोग कैसे रहेंगे? ऐसी घटना पहली बार हुई है. यहां के 80 फीसदी लोगों की शादी नेपाल में हुई है. उन्होंने कहा था कि नेपाल सरकार को शर्म आनी चाहिए.
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सीतामढ़ी के ही एक अन्य शख्स नीतीश कुमार ने बताया कि गोली चलने की घटना के बाद सैकड़ों लोग एकत्र हो गए थे.
गौरतलब है कि नेपाल द्वारा नए मानचित्र में बदलाव करने और कुछ भारतीय क्षेत्र को शामिल करने से जुड़े संविधान संशोधन विधेयक को संसद के निचले सदन द्वारा पारित किए जाने के बाद से दोनों देशों के बीच तनाव जारी है. कईयों ने गोलीबारी के तार इसी मामले से जुड़े होने की आशंका जताई है.
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नेपाली संसद में इस प्रस्तावित कानून को मिले अभूतपूर्व समर्थन को भारत के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है क्योंकि भारत के साथ सीमा विवाद के मुद्दे पर नेपाल के सख्त रुख को लेकर राजनीतिक आम राय का संकेत देता है.