नई दिल्ली : लोकसभा सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (NRC) की व्यावहारिकता पर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने कहा है कि असम में NRC की प्रक्रिया पर 1200 करोड़ रुपये से ज्यादा खर्च किए गए. इससे वहां के लोगों को काफी परेशानी भी हुई है.
ओवैसी ने एक ट्वीट में लिखा, 'सुप्रीम कोर्ट ने अभी भी सिटीजनशिप एक्ट की धारा 6ए की संवैधानिकता का फैसला नहीं कर सकी है. ऐसे में सरकार क्या 'कट ऑफ डेट' तय करेगी.'
दरअसल, सिटीजनशिप एक्ट, 1955 की धारा 6ए के तहत 25 मार्च, 1971 को 'कट ऑफ डेट' माना गया है. इसके तहत असम में एनआरसी लागू किए जाने के दौरान बांग्लादेशी प्रवासियों को भारत की नागरिकता देने का फैसला किया गया.
बता दें कि असम में बीते 31 अगस्त को प्रकाशित हुई एनआरसी की अंतिम सूची में से लगभग 19 लाख लोग बाहर रह गए हैं. इन लोगों को अपनी नागरिकता सिद्ध करने के लिए 120 दिनों का समय दिया गया है.