सूरजपुर: सूरजपुर वन परिक्षेत्र के बतरा में एक चीतल जंगल से भटककर गांव में आ गया था, जिसपर कुछ कुत्तों ने हमला कर दिया. मौके पर मौजूद वनकर्मी ने चीतल को कुत्तों से बचाकर उसका इलाज कराया.
पशु चिकित्सक डॉक्टर विवेक गुप्ता ने बताया कि वन विभाग की सूचना पर चीतल का इलाज किया गया है. चीतल के शरीर पर कई जगह कुत्तों के काटने के निशान हैं. चीतल को एंटी रेबीज का वैक्सीन लगाकर पट्टी कर दी गई है. प्राथमिक उपचार के बाद चीतल की हालत ठीक है. उन्होंने बताया कि वैक्सीन का अभी सिर्फ एक डोज दिया गया है और कुछ दिनों के अंतराल में बाकी डोज भी दिए जाएंगे.
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डीएफओ जेआर भगत ने बताया कि जंगली कुत्तों के दौड़ाने की वजह से चीतल रास्ता भटक कर रहवासी इलाके में आ गया था. फिलहाल चीतल का इलाज किया जा रहा है. चीतल के पूरी तरह स्वास्थ होने के बाद उसे जंगल में छोड़ दिया जाएगा.
लगातार घट रही वन्यजीवों की संख्या
जंगलों से घिरे सूरजपुर जिला वन्यजीवों का रह वास क्षेत्र हुआ करता था, लेकिन समय के साथ बढ़ते शिकार और तस्करी की वजह से वन्यजीवों की संख्या लगातार घटती चली जा रही है. इससे पहले भी बिलासपुर के रतनपुर के ग्रामीण अंचल पूडू पचरा में कुत्तों के झुंड़ ने एक नर चीतल पर हमला कर दिया, जिससे चीतल गंभीर रुप से घायल हो गया. बच्चों ने चीतल की जान बचााई और वन विभाग को घटना की सूचना दी. वन विभाग ने घायल चीतल को डिपो में लाकर उसका इलाज किया और सुरक्षित वन परिक्षेत्र कार्यालय में रखा था, जहां चीतल की मौत हो गई.