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रायपुर रेलवे स्टेशन में भी 'स्ट्रीट डॉग्स' का खौफ, कभी भी बन सकते हैं यात्रियों के लिए खतरा

छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में आए दिन आवारा कुत्तों के हमले की खबरें आती रहती हैं. आवारा कुत्ते यहां आदमखोर होते जा रहे हैं और यह शहर में कई लोगों को अपना निशाना बना चुके हैं. रायपुर शहर के बाद आवारा कुत्तों का आतंक अब यहां के रेलवे स्टेशन तक जा पहुंचा है. लिहाजा रेल यात्रियों को हर समय कुत्तों का खौफ बना रहता है.

'Street Dogs' at Raipur Railway Station
रायपुर रेलवे स्टेशन पर 'स्ट्रीट डॉग्स'

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Published : Jul 29, 2021, 8:00 PM IST

रायपुर :छत्तीसगढ़ के अलग-अलग हिस्सों से आए दिन स्ट्रीट डॉग्स (आवारा कुत्तों) के हमलों की खबरें आती रहती हैं. यह आवारा कुत्ते अब आदमखोर होते जा रहे हैं. लिहाजा अब इनकी जद में रायपुर रेलवे स्टेशन भी आ गया है. यहां हर समय डर बना रहता है कि कहीं कोई कुत्ता किसी यात्री को काट न ले. यह रेलवे स्टेशन प्रदेश का सबसे बड़ा स्टेशन हैं, यहां रोजाना 70-80 ट्रेनें आती जाती हैं. सैकड़ों यात्री स्टेशन से होकर गुजरते हैं, लेकिन पिछले कुछ समय से यहां आवारा कुत्तों का जमावड़ा लगा हुआ है. जिस कारण राहगीरों में इसे लेकर काफी डर बना हुआ है.

रायपुर रेलवे स्टेशन पर 'स्ट्रीट डॉग्स'

प्लेटफॉर्म टिकट हुआ महंगा, लेकिन सुरक्षा जीरो

कोरोना संक्रमण की लगातार 2 लहरों से जूझने के बाद छत्तीसगढ़ के रेलयात्री कोरोना नियमों के तहत ट्रेनों में सफर कर रहे हैं. हालांकि महामारी के बाद ट्रेन की सवारी महंगी हुई है. प्लेटफॉर्म टिकट जो पहले 10 रुपए था, अब बढ़कर 30 रुपए हो गया है. महंगाई के इस दौर में यात्री बिना इसका विरोध किए टेनों में सफर तो कर रहे हैं, लेकिन स्टेशन की सफाई और उनकी सुरक्षा का जिम्मा कौन लेगा इसे लेकर वह बेहद चिंतित हैं. रायपुर के रेलवे स्टेशन पर आवारा कुत्ते बेफिक्र धूमते रहते हैं. इनकी संख्या यहां तेजी से बढ़ रही है, लेकिन जिम्मेदार इसके लिए बेफिक्र बने हुए हैं.

रायपुर रेलवे स्टेशन पर 'स्ट्रीट डॉग्स'

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'स्ट्रीट डॉग्स' बच्चों को बना सकते हैं निशाना

रायपुर के रेलवे स्टेशन पर आवारा कुत्ते छोटे-छोटे बच्चों के आस-पास घूमते नजर आ रहे हैं. जिस कारण कभी भी स्टेशन पर यह बच्चों को काट सकते हैं. स्टेशन पर बढ़ते स्ट्रीट डॉग्स के काटने के खतरे को लेकर यात्रियों ने कहा कि पिछले 1 साल से रोजाना यात्रा करने वाले यात्रियों की हालत खस्ता है. रेलवे कोरोना गाइडलाइन के नाम पर उनसे दोगुना किराया वसूला रहा है, लेकिन अगर सुविधा की बात की जाए तो रेलवे इसमें बिल्कुल फेल है. स्टेशन पर आवारा कुत्तों के हमले का डर बना रहता हैं. न ही यहां सोशल डिस्टेंसिंग फोलो की जा रही है और न ही किसी के चेहरे पर मास्क रहता है.

रायपुर रेलवे स्टेशन पर 'स्ट्रीट डॉग्स'

एक्सपर्ट की राय

रेलवे स्टेशन पर आवारा कुत्तों की इस समस्या को लेकर एक्सपर्ट का कहना है कि अगर आवारा कुत्तों के आतंक से लोगों को बचाना है तो इनकी बढ़ती जनसंख्या को नियंत्रित करना होगा. साथ ही उन्हें स्टेशन से बाहर करना होगा. बतौर एक्सपर्ट, हर कुत्ते के काटने से रेबीज नहीं होता. रेबीज की पहचान आम लोग भी कर सकते हैं.

रायपुर रेलवे स्टेशन पर 'स्ट्रीट डॉग्स'

रेबीज के लक्षण

  • कुत्तों की आंखों में पानी, मुंह में लार आता रहता है.
  • ऐसा कुत्ता दूसरे कुत्तों पर भी अटैक करता है.
  • लोगों की गाड़ियों पर अटैक करता है.
  • कुत्ता अंधेरे की तरफ भागता है.

आवारा कुत्ते रायपुर के रेलवे स्टेशन पर ही नहीं शहर में भी बड़ी तादाद में मौजूद हैं. जो राहगीरों के लिए कभी भी खतरा बन सकते हैं. वहीं, अगर समय रहते इनकी बढ़ती संख्या में कमी नहीं लाई गई तो ये आगे बड़ा खतरा बन सकते हैं.

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