छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव में सरकार किसी की भी बने, लेकिन हमेशा की तरह फायदे में रहेंगे ये
Flower Market Buzzing छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव के नतीजे 3 दिसंबर को आएंगे.इस दिन का राजनीतिक दलों के साथ कुछ और लोगों को भी इंतजार है.क्योंकि सरकार चाहे जिसकी भी बने,लेकिन इनका मुनाफा होना पक्का है.ये और कोई नहीं बल्कि फूलों का बिजनेस करने वाले व्यापारी है.जिन्हें उम्मीद है कि रिजल्ट के बाद इनका धंधा और भी ज्यादा होगा.Chhattisgarh Election Result 2023
रायपुर : छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव के बाद अब नतीजों का इंतजार है.3 दिसंबर के दिन ये इंतजार भी खत्म हो जाएगा.रविवार को मतगणना पूरी होते ही जीते हुए प्रत्याशियों का विजयी जुलूस भी निकलेगा.इसी के साथ मिठाई दुकानों के साथ फूल बाजार भी गुलजार होंगे. क्योंकि रिजल्ट आने के बाद बधाई के लिए फूलों की डिमांड भी बढ़ेगी. राजनीतिक दलों के समर्थक अपने प्रिय नेता का फूलों और मालाओं से स्वागत करेंगे.जिसके लिए फूल बाजार भी तैयार है.इस समय बाजार में गुलाब,रजनीगंधा,सेवंती,मोगरा और गेंदे का डिमांड सबसे ज्यादा है.
छत्तीसगढ़ में एक करोड़ का व्यापार होने की उम्मीद
किस पार्टी के लिए कौन सी माला की डिमांड ? :बात यदि राजनीतिक दलों की करें तो बीजेपीनेताओं के स्वागत के लिए केसरिया और हरे रंग के फूल की माला वहीं कांग्रेस नेताओं के स्वागत के लिए केसरिया, हरा और सफेद रंग के माला की डिमांड सबसे ज्यादा होती है. एक अनुमान के मुताबिक पूरे छत्तीसगढ़ में लगभग एक करोड़ रुपए का कारोबार चुनाव नतीजे आने के बाद होने की उम्मीद है. नेताओं के स्वागत और सम्मान के लिए 10 किलो से लेकर 100 किलो तक के वजन की माला बनाई जाती है.
कहां से आते हैं फूल ? :प्रदेश में किसान फूल तो उगाते ही हैं.साथ ही साथ दूसरे राज्यों से भी फूलों की आपूर्ति होती है. प्रदेश में फूलों की सप्लाई हैदराबाद नागपुर, बेंगलुरु, नासिक, पुणे, कोलकाता और हिमाचल प्रदेश से होती है. 3 दिसंबर को मतगणना वाले दिन फूलों की डिमांड बढ़ने के साथ ही फूल मालाओं के दाम भी बढ़ेंगे.
छत्तीसगढ़ के दूसरे जिलों में सप्लाई :रायपुर से प्रदेश के दूसरे जिलों में भी फूलों की सप्लाई होती है. मतगणना वाले दिन राजनीतिक दलों की जीत के बाद लोग स्वागत के लिए फूल और मालाओं का इस्तेमाल अधिक करते हैं. काउंटिंग वाले दिन रायपुर में फूल और मालाओं का कारोबार 25 लाख रुपए तक होने का अनुमान है.
''नेताओं के समर्थक उन्हें खुश करने के लिए भारी और वजनदार माला की डिमांड करते हैं. माला बनाने में सबसे अधिक गेंदा फूल का इस्तेमाल किया जाता है. स्वागत के लिए माला में डिजाइन और लुक के लिए सेवंती, रजनीगंधा और गुलाब फूल का भी इस्तेमाल होता है. ऐसे में मतगणना वाले दिन फूलों की डिमांड बढ़ने के साथ ही फूल और मालाओं के दाम भी बढ़ जाएंगे."-सोनू यादव, फूल विक्रेता
जैसी होगी डिमांड,वैसे करेंगे पूरा :वहीं दूसरे दुकानदार राकेश साहू ने बताया कि फूल बाजार में फूल की बिक्री अभी सामान्य रूप से चल रही है. लेकिन काउंटिंग वाले दिन फूल माला की डिमांड बढ़ने के साथ ही दाम बढ़ेंगे. जिसकी तैयारी फुल दुकानदार कर चुके हैं. बाहर से माल ऑर्डर पर मंगाया गया है. नेता कोई भी जीते या हारे फूल और माला की डिमांड मतगणना वाले दिन हमेशा रहती है.
कितनी है माला की मौजूदा कीमत :10 किलोग्राम की माला की कीमत लगभग 1 हजार रुपये. लूज गुलाब की वर्तमान में कीमत लगभग 200 रुपये किलोग्राम है.लेकिन मतगणना वाले दिन इसकी कीमत बढ़कर लगभग 300 से 400 रुपए तक होगी. वर्तमान में रजनीगंधा माला की कीमत 100 रुपए हैं. जो मतगणना वाले दिन बढ़कर 150 से 200 रुपए में बिकेगी. मोगरा फूल की माला वर्तमान में 100 रुपए है. जो मतगणना वाले दिन बढ़कर 150 से 200 रुपए में बिकेंगे. इसी तरह सेवंती फूल की माला की कीमत लगभग 150 से 200 रुपए है. जो मतगणना वाले दिन बढ़कर 300 से 400 रुपये तक हो जाएगी. कुछ लोग नेताओं के स्वागत और सम्मान के लिए बुके भी खरीदते हैं. फूल बाजार में बुके की कीमत 300 से शुरू होकर 15 हजार रुपए तक है.