रायपुर: छत्तीसगढ़ में 16 अगस्त से फिर राज्य कर्मचारियों के तबादले शुरू हो जाएंगे. इसकी विस्तृत सिफारिश तबादला नीति बनाने के लिए मंत्रिपरिषद की उप समिति ने भेज दी है. बताया जा रहा है कि जिला स्तरीय तबादलों की प्रक्रिया 16 अगस्त से 15 सितम्बर तक चलेगी. वहीं राज्य स्तरीय तबादलों के लिए 16 सितम्बर से 30 सितम्बर तक का समय निर्धारित किया जा रहा है. तबादला नीति की घोषणा जल्दी ही कर दी जाएगी.
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सूत्रों के मुताबिक, जिला स्तर पर तबादलों के लिए मंत्रियों की उप समिति ने कहा है कि जिला संवर्ग के तृतीय और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों का स्थानांतरण प्रभारी मंत्री के अनुमोदन से कलेक्टर करेंगे. स्थानांतरण आदेश भी प्रभारी मंत्री के अनुमोदन के बाद ही जारी होगा. तृतीय श्रेणी कर्मचारियों के मामलों में उनके संवर्ग में कार्यरत कर्मचारियों की संख्या के 10% तक का तबादला किया जा सकेगा.
वहीं चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के मामले में अधिकतम सीमा 10% होगी. अनुसूचित क्षेत्र से किसी कर्मचारी का सामान्य क्षेत्र में तबादला होता है तो उसके एवजी दार का भी प्रस्ताव अनिवार्य रूप से रखना होगा. यानी तबादले से अनुसूचित क्षेत्रों में रिक्तियां नहीं होनी चाहिए. अधिक कर्मचारी वाली जगहों से कम कर्मचारी वाली जगहों पर तबादले करने हैं. कम कर्मचारी वाली जगह से अधिक कर्मचारी वाली जगह पर तबादले नहीं होंगे. 30 सितम्बर 2022 के बाद से तबादलों पर प्रतिबंध लग जाएगा. उसके बाद बहुत आवश्यक हुआ तो समन्वय में अनुमोदन के बाद किसी अधिकारी कर्मचारी का तबादला किया जा सकेगा.
उप समिति ने पिछले सप्ताह की सिफारिश:छत्तीसगढ़ में कोरोना संकट की वजह से दो साल से कर्मचारियों के तबादले पर रोक लगी हुई है. इसकी वजह से कर्मचारियों में नाराजगी बढ़ रही है. विधानसभा के मानसून सत्र शुरू होने से पहले राज्य कैबिनेट की बैठक में तबादला नीति पर शुरुआती चर्चा हुई थी. उसमें मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने गृह मंत्री ताम्रध्वज साहू की अध्यक्षता में मंत्रिपरिषद की उप समिति का गठन कर दिया. इसमें वन मंत्री मोहम्मद अकबर, शिक्षा मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम, नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ. शिव कुमार डहरिया और महिला एवं बाल विकास मंत्री अनिला भेंडिया को भी रखा गया. दो बैठकों में तबादला नीति का मसौदा तैयार कर इस उप समिति ने अपनी सिफारिश भेज दी है.