कोंडागांव/केशकाल: कोरोना वायरस ने पूरी दुनिया में हाहाकार मचा कर रखा है, जिसकी वजह से सरकार लगातार लोगों को घर में रहने की अपील कर रही है. वहीं सुप्रीम कोर्ट की ओर से लगातार कोरोना से संबंधित फेसबुक, व्हाट्सऐप और अन्य सोशल मीडिया में भ्रामक जानकारी न फैलाने का आदेश जारी किया गया है. सुप्रीम कोर्ट के अनुसार यदि कोई ऐसा करता पाया गया तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है.
कोरोना पीड़ित दो व्यक्तियों को दफनाने की खबर फेक बता दें, कोंडागांव जिले के केशकाल में इन दिनों एक समुदाय की ओर से रात में दो व्यक्तियों को अज्ञात रूप से दफनाने की अफवाह तेजी से फैल रही है. अफवाह में यह भी बताया जा रहा है कि वह दोनों युवक कोरोना पीड़ित थे.
कोरोना पीड़ित दो व्यक्तियों को दफनाने की खबर फेक समाज के प्रमुखों से मिलकर ली गई घटना की जानकारी उक्त अफवाह को तेजी से फैलता देख अनुविभागीय अधिकारी पुलिस अमित पटेल की ओर से टीम गठित कर समाज के प्रमुखों से मिलकर घटना की जानकारी ली गई, जिसमें यह पाया गया कि उक्त घटना में कोई भी व्यक्ति कोरोना से संक्रमित नहीं था. यह अफवाह बेवजह लोगों की ओर से फैलाई गई है. इस प्रकार की कोई घटना नहीं हुई है.
भ्रामक जानकारी फैलाने वाले पर होगी कार्रवाई
थाना प्रभारी देवेंद्र दर्रो ने बताया कि इस घटना के संबंध में कुछ लोगों की ओर से सोशल मीडिया पर भ्रामक जानकारी फैलाई जा रही है. यदि कोई भी इस प्रकार की भ्रामक जानकारी फैलाते हुए पाया जाता है तो सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार उस पर वैधानिक कार्रवाई की जाएगी.