जशपुर:छत्तीसगढ़ में पहले आदिवासी सीएम विष्णुदेव साय ने बुधवार को राजनीतिक गुरु देवकी महाराज को सोशल मीडिया के माध्यम से श्रद्धांजलि दी. दरअसल, देवकी महाराज की बुधवार 20 दिसंबर को जयंती थी. ये जशपुर जिले के कुनकुरी के निवासी थे. उनका जन्म 20 दिसंबर 1938 में हुआ था. युवावस्था से ही देवकी महाराज जनसंघ और आरएसएस जैसे हिंदू संगठनों से जुड़ गए थे. देवकी महाराज को राजनीकि का गुरु कहा जाता है. बुधवार को छत्तीसगढ़ के सीएम विष्णुदेव साय ने गुरु देवकी महाराज जी के जयंती के मौके पर उनको श्रद्धांजलि दी.
जानिए कौन हैं सीएम विष्णुदेव साय के राजनीतिक गुरु ?
Guru Devaki Maharaj birth anniversary: छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने अपने गुरु देवकी महाराज को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि दी.
By ETV Bharat Chhattisgarh Team
Published : Dec 20, 2023, 10:59 PM IST
|Updated : Dec 21, 2023, 11:58 AM IST
इंदिरा गांधी के विरोध में सड़क पर उतरे थे देवकी महाराज: साल 1977 में जब तात्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने देश में आपातकाल की घोषणा की थी. तब देवकी महाराज भी इंदिरा सरकार के तानाशाही रवैया का विरोध करने के लिए सड़क पर उतर आए थे. उन्हें गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था. देवकी महाराज के पोते और नगर पंचायत कुनकुरी के पूर्व एल्डरमैन अमन शर्मा ने देवकी महाराज की जयंती के मौके पर मीडिया से बातचीत की. उन्होंने कहा कि, "देवकी महाराज वनवासी कल्याण आश्रम के संस्थापक बाला साहेब देशपांडे के संपर्क में आने के बाद समाज के कल्याण में जुट गए. उनसे प्रभावित होकर जशपुर में जनजातीय समाज के लोगों के अधिकार और सामाजिक और आर्थिक उत्थान का उन्होंने काम किया."
बता दें कि उन्होंने अपने राजनीतिक जीवन में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, भाजपा के दिग्गज नेता रहे कुमार दिलीप सिंह जूदेव, गणेश राम भगत को राजनीति में लेकर आए, जिन्होंने जशपुर के अविभाजित मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के साथ केन्द्र सरकार में भी अहम भूमिका निभाई. अपने सियासी सफर में देवकी महाराज अविभाजित रायगढ़ जिले में भाजपा के जिलाध्यक्ष बने.