बिलासपुर: छत्तीसगढ़ में कोरोना के केस लगातार बढ़ रहे हैं, बावजूद इसके लोग अपने लापरवाह रवैये से बाज नहीं आ रहे हैं. कोरोना काल में जहां बसों का संचालन काफी वक्त के लिए बंद कर दिया गया था, वहीं अनलॉक के बाद बस एजेंसियां शासन की गाइडलाइन की खुलेआम धज्जियां उड़ा रहे हैं. बसों में क्षमता से ज्यादा यात्रियों को भरा जा रहा है. वहीं परिवहन विभाग भी बस संचालकों की इस लापरवाही पर कोई कार्रवाई करता नजर नहीं आ रहा है.
40 सीट की बसों में भेड़-बकरियों का तरह यात्रियों को भरा जा रहा है. बस संचालकों पर कोई कार्रवाई नहीं होने के कारण आम लोग जान हथेली पर रखकर यात्रा करने को मजबूर हैं. न्यायधानी बिलासपुर में आरटीओ, श्रम विभाग समेत पूरे जिला प्रशासन की लापरवाही का नतीजा मजदूरों को भुगतना पड़ रहा है.
सरकार ने एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाने के लिए जहां कड़े नियमों के साथ बस संचालकों को रियायत दी है, तो वहीं बस ट्रैवल्स कंपनियां फायदा कमाने के लिए मनमाने तरीके से टिकट की वसूली कर रही हैं. इस बारे में जब बिलासपुर कलेक्टर सारांश मित्तर से बात की गई, तो उन्होंने बस संचालकों पर कार्ररवाई करने की बात कही है. अब देखना होगा कि जिला प्रशासन बस संचालकों पर क्या कार्रवाई करती है.