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सरगुजा की इस बेटी ने वो कमाल किया, जो अब तक किसी ने नहीं किया

सीमा जिंदल ने 2018-19 में नीदरलैंड के डॉ. हेंस टेंडम द्वारा संचालित टास्सो (टीएएसएसओ) कोर्स में प्रथम स्थान प्राप्त किया है. इस कोर्स में प्रथम स्थान पाने वाली डॉक्टर सीमा देश की पहली महिला हैं.

अपने माता-पिता के साथ सीमा जिंदल

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Published : Apr 1, 2019, 5:26 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 8:00 AM IST

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अंबिकापुर : शहर के पूर्व पार्षद कर्ता राम गुप्ता की बेटी डॉक्टर सीमा जिंदल ने छत्तीसगढ़ का परचम लहराया है. सीमा जिंदल ने 2018-19 में नीदरलैंड के डॉ. हेंस टेंडम द्वारा संचालित टास्सो (टीएएसएसओ) कोर्स में प्रथम स्थान प्राप्त किया है. इस कोर्स में प्रथम स्थान पाने वाली डॉक्टर सीमा देश की पहली महिला हैं.

ट्रांस पर्सनल रिग्रेशन थेरेपी साइकोलॉजी पर आधारित है. इसमें मानव की भावनाओं को समझकर उसका इलाज किया जाता है. सीमा जिंदल ट्रांस पर्सनल रिग्रेशन थेरेपी का अध्ययन करने वालीं सरगुजा संभाग की पहली महिला हैं. डॉ सीमा जिंदल करीब डेढ़ दशक से वास्तु शास्त्र, ज्योतिष अंक शास्त्र ,फेंग शुई के क्षेत्र में देश-विदेश में अपनी सेवाएं दे रही हैं.

डॉ सीमा ने बताया कि, इस थेरेपी से इनर चाइल्ड, एनसेस्टर हीलिंग, हैंगओवर, होमिंग, रिलेशनशिप प्रॉब्लम, एक्सीडेंट ट्रॉमा, लाइफ प्लान, चाइल्ड च्वॉइस, फियर, फोबिया, सर्जिकल ट्रॉमा जैसी बीमारियों का इलाज करती हैं.

डॉ जिंदल बताती हैं कि छत्तीसगढ़ में इस थेरेपी से काफी लोग परिचित हैं, लेकिन सरगुजा क्षेत्र में इसे कम लोग ही जानते हैं. यह ऐसी थेरेपी है, जिसमें प्रभावी व्यक्ति खुद अपनी कमियां बताता है, क्योंकि हर व्यक्ति किसी न किसी फोबिया से ग्रसित है. जैसे, कुछ लोग डिप्रेशन में आने के बाद या जन्म से ही पानी से डरते हैं, कुत्ते के भौंकने से डरते हैं, रात होते ही भयभीत हो जाते हैं. इसका समाधान ट्रांस पर्सनल रिग्रेशन थेरेपी से निकल आता है.

Last Updated : Jul 25, 2023, 8:00 AM IST

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