कोरबा में दुनिया का सबसे जहरीला नाग किंग कोबरा, दुर्लभ नागराज को बचाने जुटा वन विभाग - World Snake Day
World Snake Day छत्तीसगढ़ के कोरबा में दुनिया का सबसे जहरीला सांप मिलता है.इस सांप का नाम है किंग कोबरा.जिसे लेकर स्थानीय लोगों में कई तरह की धारणाएं हैं. लेकिन अज्ञानता के कारण इनकी जान खतरें हैं. लिहाजा इन दुर्लभ सांपों को बचाने के लिए वन विभाग जी जान से जुटा है. World most poisonous snake
दुर्लभ नागराज को बचाने जुटा वन विभाग (ETV Bharat Chhattisgarh)
कोरबा :छत्तीसगढ़ अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए मशहूर है.यहां अकूत मात्रा में खनिज संपदा है. लेकिन यदि बात करें सांपों की तो यहां का कोरबा जिला दुनिया के सबसे जहरीले सांपों का आशियाना है. कोरबा मध्यभारत और छत्तीसगढ़ का एकमात्र ऐसा जिला है,जहां किंग कोबरा पाया जाता है. लगभग 3 से 4 साल पहले कोरबा में कोबरा की मौजूदगी का पता चला था.इस विश्व सर्प दिवस पर हम आपको बताएंगे कि कैसे कोरबा में किंग कोबरा की मौजूदगी का पता चला और आगे सरकारी विभाग इनकी संख्या को संरक्षित करने के लिए किस तरह की योजना पर काम कर रहे हैं.
दुर्लभ नागराज को बचाने जुटा वन विभाग (ETV Bharat Chhattisgarh)
जानकारों ने किया था कोबरा की मौजूदगी से इनकार :जानकारों ने पहले कोबरा की मौजूदगी मानने से इनकार कर दिया. एक्सपर्ट्स का भी मानना था कि कोरबा जैसे जिले में कोबरा का होना असंभव है. लेकिन जब नियमित अंतरालों में कोबरा मिलने लगे तो इस बात को बल मिला कि जिले में किंग कोबरा का वास है. इसके बाद वन विभाग इनके रहवास को विकसित करके संरक्षण देने की कार्ययोजना पर काम कर रहा है.
कोरबा में दुनिया का सबसे जहरीला नाग किंग कोबरा (ETV Bharat Chhattisgarh)
18 फीट के कोबरा भी कोरबा में मिले :बीते कुछ साल के दौरान अलग-अलग समय में कोरबा में 12 से 18 फीट के किंग कोबरा पाए गए हैं. कोरबा विकासखंड में ही और आसपास के जंगल में किंग कोबरा की मौजूदगी है. स्थानीय निवासी इसे लंबे समय से देखते आ रहे हैं. ग्रामीण इसे पहाड़ चित्ती सांप के नाम से पुकारते हैं. इनकी संख्या तब और भी बढ़ी जब ये शहर के आसपास के इलाकों में प्रवेश करने लगे. तब सांपों का रेस्क्यू करने वाले सर्प मित्र और दूसरे जानकारों ने इस बात की पुष्टि की.तब लोगों को ये पता चला कि किंग कोबरा की बड़े पैमाने में जिले के अंदर मौजूदगी है.
वन विभाग में हाल ही में कराया सर्वे :किंग कोबरा के लगातार जिले में मिलने के कारण इस दुर्लभ और शानदार जीव के संरक्षण की दिशा में वन विभाग ने काम करना शुरू किया. वन विभाग ने उत्साह के साथ राज्य स्तर पर कोरबा में जहां कोबरा मिलते हैं उस क्षेत्र को संरक्षित करने के लिए एक प्रस्ताव तैयार किया. जिसे हरी झंडी मिलते ही कुछ समय पहले एक विशेषज्ञ संस्था ने पूरे क्षेत्र का सर्वे किया है.
सर्वे में अधिक संख्या में किंग कोबरा के होने की पुष्टि :सर्वे में ये पाया गया है कि किंग कोबरा की बड़े पैमाने पर यहां मौजूदगी है. अब वन विभाग किंग कोबरा के संरक्षण की योजना पर भी काम कर रहा है. एक सीमित क्षेत्र को किंग कोबरा के रहवास के तौर पर विकसित किया जा रहा है. ताकि ये सांप बेहतर तरीके से यहां जीवन यापन कर सकें. इस दौरान ये कोशिश की जाएगी कि प्रचुर मात्रा में कोबरा के लिए भोजन और पानी की व्यवस्था के साथ ही वन विभाग प्रयास करेगा कि इन्हें कोई खतरा महसूस ना हो, और यह अपनी संख्या को विस्तार दे सकें.
लोगों को किया गया है जागरुक :वन विभाग ने सर्वे में ये भी पाया कि लोगों में किंग कोबरा को लेकर एक भ्रांति है. लोग किंग कोबरा जैसे सांप को मारकर इसके सिर को काटकर अपने घर के सामने गाड़ देते हैं. इस दिशा में कई तरह के अंधविश्वास हैं. वन विभाग ने अब लोगों को ऐसा न करने की अपील की है. ताकि किंग कोबरा जैसे शानदार और दुर्लभ सांपों की संख्या कम ना हो.
''किंग कोबरा और वनों को संरक्षित करने का प्रयास किया जा रहा है.साथ ही लोगों को मारने वाले लोगों के बीच अवेयरनेस फैलाया जा रहा है.ताकि दुर्लभ किंग कोबरा को खत्म होने से बचाया जा सके..''- आशीष खेलवार एसडीओ, कोरबा वनमंडल
अपेक्स स्पीशीज में शामिल है किंग कोबरा :किंग कोबरा को बायोडायवर्सिटी के लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण जीव माना जाता है. यह हमारे फूड चेन में एक अपेक्स स्पीशीज यानी शीर्ष शिकारी होता है. किंग कोबरा के विषय में ऐसा माना जाता है कि इससे अन्य सांपों की प्रजातियां भी नियंत्रित होती है. किंग कोबरा ऐसा दुर्लभ सांप है जो अन्य सांपों को भी अपना आहार बनाता है. इसलिए किंग कोबरा का पर्यावरण में मौजूद रहना बेहद आवश्यक है. इससे हमारे फूड चैन का संतुलन बना रहता है.
किंग कोबरा की धार्मिक मान्यता भी कम नहीं :पौराणिक धार्मिक मान्यताओं के माने तो किंग कोबरा के प्रति आस्था भी काम नहीं है. एक तरफ लोग जहां मारने की बात कहते हैं. तो दूसरी तरफ पौराणिक मान्यताओं के अनुसार माना जाता है कि भगवान शिव जी के गले में जो सांप लिपटा है वो किंग कोबरा ही है. यह दुनिया का सबसे जहरीला सांप है. इसलिए किंग कोबरा को नागराज भी कहा जाता है. इसका मतलब सांप की प्रजाति में कोबरा सांपों का राजा है.