गिरिडीह: जयराम महतो की पार्टी 'झारखंड लोकतांत्रिक क्रांतिकारी मोर्चा' सूबे के 81 विधानसभा सीट पर चुनाव लड़ने की घोषणा कर चुकी है. ऐसे में इनकी पार्टी का कुनबा अब बढ़ता ही जा रहा है. चुनाव लड़ने की इच्छा पाले नेता लगातार जयराम के साथ आ रहे हैं. गिरिडीह जिले से भी दो नेता जयराम के साथ आ गए, जिनमें भाकपा माले के राज्य कमेटी सदस्य राजेश यादव और कांग्रेस ओबीसी मोर्चा के प्रदेश प्रवक्ता रहे नवीन आनंद ऊर्फ नवीन चौरसिया हैं. राजेश कुछ दिनों पहले ही भाकपा माले से त्यागपत्र दिए थे और पिछले दिनों जयराम की पार्टी में शामिल हो गए. जबकि 30 सितंबर यानी आज के आयोजित कार्यक्रम में नवीन आनंद विधिवत तौर पर जयराम के साथ होंगे. ईटीवी भारत ने दोनों से पार्टी छोड़ने की वजह और आगे की रणनीति को लेकर बातचीत की.
सूबे में बदलाव की लहर: राजेश
राजेश यादव ने कहा कि गांडेय क्षेत्र में वे 20 वर्ष से जनता की अगुवाई की, जनता के लिए संघर्ष किया. कहीं न कहीं इन संघर्षों को छोड़ने की बात चल रही थी, तो इसलिए हमने भाकपा (माले) को छोड़ना ही बेहतर समझा. उन्होंने कहा कि हम जनसंघर्ष नहीं छोड़ सकते, जनता को नहीं छोड़ सकते इसलिए भाकपा माले ही छोड़ दिया. पूरे झारखंड में बदलाव की लहर चल रही है और जिस तरह से पिछले 24 साल से यहां के लोगों को ठगा गया, शहीदों के अरमानों को खत्म किया गया, इन्हें ट्रैक पर लाने की जरूरत है. अब झारखंड के नव निर्माण की बात है, जिसकी अगुवाई जयराम महतो कर रहे हैं. इसलिए पूरे झारखंड को जयराम से उम्मीद है.
जयराम से प्रभावित होकर साथ चलने का लिया निर्णय: नवीन