जयपुर. पुलिस ने हाल ही में मुठभेड़ के बाद कुख्यात बदमाश राकेश यादव को गिरफ्तार कर लिया है. वह लगातार तीन साल से पुलिस को चकमा दे रहा था. खास बात यह है कि इस दौरान लगातार इंटरनेट कॉलिंग और कॉल स्पूफिंग के जरिए वह रंगदारी का नेटवर्क भी चला रहा था. इसके साथ ही धड़ल्ले से वाट्सएप, इंस्टाग्राम और स्नैपचैट जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स का भी इस्तेमाल कर रहा था. इसके बावजूद वह पुलिस को लगातार चकमा देता रहा. पुलिस की पड़ताल में सामने आया है कि असम और कोलकाता में फरारी काटने के दौरान वह हर दिन नए मोबाइल हैंडसेट और नए मोबाइल नंबर काम में ले रहा था. जब पुलिस ने उसे पकड़ा था. उस समय भी उसके पास चार मोबाइल हैंडसेट और अलग-अलग कंपनियों की पांच सिम मौजूद थे.
क्राइम सीरियल से जाना पुलिस से बचने के तरीके :पुलिस की पड़ताल में यह भी खुलासा हुआ है कि आरोपी राकेश यादव यूट्यूब और अन्य सोशल साइट्स पर क्राइम सीरियल देखता था. इसके जरिए वह जानता था कि पुलिस किन तरीकों से अपराधियों तक पहुंच सकती है और क्या-क्या सावधानियां रखकर पुलिस से बचा जा सकता है. इसीलिए मोबाइल हैंडसेट और सिम वह लगातार बदल रहा था. किसी व्यक्ति से एक बार जिस नंबर से बात करता तो फिर उससे दुबारा कभी उस व्यक्ति से बात नहीं करता था.