नई दिल्ली: दिल्ली में वोट डाले जा रहे हैं. पिछले 10 साल से सभी सातों सीटों पर भाजपा का कब्जा है. बीती 29 अप्रैल को दिल्ली में लोकसभा चुनाव में नामांकन की प्रक्रिया शुरू हुई थी. तभी से चुनावी सरगर्मियां भी बढ़नी शुरू हो गई थीं. 29 अप्रैल से लेकर 23 मई तक कुल 26 दिन तक दिल्ली में प्रमुख राजनीतिक दलों ने भाजपा, आम आदमी पार्टी और कांग्रेस की तरफ से जमकर चुनाव प्रचार किया गया. भाजपा सात, आप चार तो कांग्रेस तीन सीटों पर चुनावी मैदान में है.
भाजपा की तरफ से पीएम नरेंद्र मोदी ने खुद दो बड़ी जनसभाएं की. वहीं, कांग्रेस से राहुल गांधी ने भी दो जनसभाएं की हैं. जबकि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने जनसभाओं के साथ ही कई रोड शो भी किए. इसके अलावा भाजपा से कई राज्यों के मुख्यमंत्री और केंद्रीय मंत्री भी चुनाव प्रचार में लगे रहे. लेकिन, इस बार का लोकसभा चुनाव पिछले 2019 के लोकसभा चुनाव से कई तरह से अलग है. आइए, जानते हैं पिछला लोकसभा चुनाव इस बार के चुनाव से किस तरह से अलग है...
- साल 2024 के लोकसभा चुनाव में दिल्ली में किसी सेलिब्रिटी को चुनाव मैदान में नहीं उतरा गया है. तीनों प्रमुख राजनीतिक दलों भाजपा, आप और कांग्रेस ने किसी भी सेलिब्रिटी को दिल्ली के चुनावी मैदान में नहीं उतारा.
- 2019 के लोकसभा चुनाव में तीन-तीन सेलिब्रिटी चुनाव मैदान में थे. पूर्वी दिल्ली लोकसभा सीट से भाजपा के टिकट पर पूर्व क्रिकेटर गौतम गंभीर चुनाव मैदान में थे. उत्तर-पश्चिमी दिल्ली सीट पर भाजपा के ही टिकट से सूफी गायक हंस राज हंस ने चुनाव लड़ा था. दक्षिणी दिल्ली सीट से कांग्रेस के टिकट पर बॉक्सर विजेंद्र कुमार चुनाव में थे. भाजपा के दोनों प्रत्याशियों को जीत मिली थी तो विजेंद्र को हार.
- 2024 के लोकसभा चुनाव में पहली बार रामलीला मैदान में कोई जनसभा नहीं हुई है. जबकि हर लोकसभा और विधानसभा चुनाव में रामलीला मैदान में जनसभाएं होती रही हैं.
- इस बार के चुनाव में पहली बार दिल्ली और देश में कांग्रेस के किसी प्रदेश अध्यक्ष ने चुनाव के बीच में पार्टी से इस्तीफा देकर भाजपा का दामन थाम लिया.
- आम आदमी पार्टी के गठन के बाद पहली बार आप ने कांग्रेस के साथ गठबंधन किया है. आप ने चार सीट और कांग्रेस तीन सीटों पर चुनाव लड़ रहा है. 2019 के लोकसभा चुनाव में दोनों ने अलग चुनाव लड़ा था.
- दिल्ली में पहली बार भाजपा ने दो महिलाओं बांसुरी स्वराज और कमलजीत सहरावत को टिकट दिया है. जबकि पिछले लोकसभा चुनाव में एक महिला मीनाक्षी लेखी को टिकट दिया था.
- कांग्रेस ने पहली बार दिल्ली में किसी महिला प्रत्याशी को चुनावी मैदान में नहीं उतारा है. पिछले लोकसभा चुनाव में कृष्णा तीरथ और शीला दीक्षित को कांग्रेस ने दिल्ली के चुनावी मैदान में उतारा था. हालांकि, दोनों को हार का सामना करना पड़ा था.
- आम आदमी पार्टी ने भी किसी महिला को दिल्ली के लोकसभा चुनाव में टिकट नहीं दिया है. जबकि, पिछले लोकसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी की मौजूदा कैबिनेट मंत्री आतिशी ने पूर्वी दिल्ली लोकसभा सीट से चुनाव लड़ा था. हालांकि, उन्हें हार का सामना करना पड़ा था.