श्रीनगर: यूं तो उत्तराखंड राज्य बनने के बाद ज्यादातर गांव सड़क सुविधा से जुड़ गए हैं, लेकिन आज भी कई ऐसे गांव हैं, जहां के रहवासी आज भी सड़क की बाट जोह रहे हैं. जिसमें कीर्तिनगर विकासखंड के नौडा, धौलियाना गांव शामिल है. जहां सड़क को लेकर ग्रामीणों की आंखें पथरा गई हैं, लेकिन आज भी उनका गांव सड़क से नहीं जुड़ पाया है. जिससे उन्हें काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. अब गुस्साए ग्रामीणों ने 'रोड़ नहीं तो वोट नहीं' का नारा बुलंद कर चुनाव बहिष्कार की चेतावनी दी है.
नौडा धौलियाना के ग्राम प्रधान हेमलता नेगी, गंभीर सिंह नेगी, गंभीर सिंह जायड़ा, भगवान सिंह जायड़ा ने बताया कि नौडा धौलियाना के ग्रामीण बीते 12 सालों से सड़क की मांग कर रहे हैं. गांव में सड़क न होने से बीमार, घायल, गर्भवतियों को कुर्सी और पालकी पर उठाकर करीब 6 किमी की पैदल दूरी तय करनी पड़ती है. जिसके बाद ही चुन्नीखाल में सड़क तक पहुंचा जा सकता है. उन्होंने ये भी कहा कि सड़क न होने से गांव में 70 प्रतिशत पलायन हो चुका है. धौलियाना, दुग्ड, नौडा, चौनी गांव में 700 से ज्यादा लोग रहते हैं.
ग्रामीण गंभीर सिंह जायड़ा ने बताया कि साल 2017 में तत्कालीन मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने नौडा-धौलियाना मोटर मार्ग बनाने की घोषणा की थी. जिसकी दो बार सर्वे भी किया जा चुका है. बावजूद आज तक ग्रामीणों को मोटर मार्ग नसीब नहीं हो पाया है. सड़क की मांग को लेकर ग्रामीण कई बार शासन-प्रशासन से मांग कर चुके हैं, लेकिन मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हो पाई है. लिहाजा, उन्होंने चुनाव बहिष्कार का ऐलान किया है.