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त्रासदी में लापता लोगों के डेथ सर्टिफिकेट के लिए अब 7 साल तक नहीं करना पड़ेगा इंतजार, केंद्र सरकार ने जारी किए नए दिशा-निर्देश - Missing People Death Certificate - MISSING PEOPLE DEATH CERTIFICATE

Rules for Death certificate of Missing people in Disaster: हिमाचल प्रदेश में त्रासदी में लापता लोगों के मृत्यु प्रणाम पत्र जो पहले 7 साल के बाद मिलते थे, वो अब जल्द मिलेंगे. केंद्र सरकार की ओर से इस ओर नए दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं. जानें क्या हैं नए नियम....

Mandi Disaster
मंडी आपदा (ETV Bharat)

By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Aug 27, 2024, 2:29 PM IST

मंडी:हिमाचल प्रदेश में भारी बरसात के कारण आई त्रासदी में जो लोग लापता हैं, उनके मृत्यु प्रमाण पत्रों के लिए अब 7 सालों का इंतजार नहीं करना पड़ेगा. केंद्र सरकार द्वारा जारी किए गए नए दिशा निर्देशों के तहत ऐसी स्थिति में जल्द से जल्द मामले की छानबीन करके मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने को कहा गया है.

मंडी के राजबन में बादल फटने के बाद की तबाही (ETV Bharat)

2023 में 9 और 2024 में 1 व्यक्ति है लापता

बता दें कि साल 2023 में मंडी जिले में भारी बारिश के कारण आई त्रासदी के चलते 54 लोगों की मौत हो गई थी. जिसमें से 9 लोग अभी तक लापता हैं. इसके अलावा इस साल भी मंडी जिले के 10 लोगों ने आपदा में अपनी जान गंवाई है. इनमें से 9 शव बरामद हो चुके हैं, जबकि 1 अभी भी लापता है. एक तय समय तक सर्च ऑपरेशन चलाने के बाद प्रशासन ने अब इस कार्य को भी नियमों के तहत बंद कर दिया है. इसलिए लापता लोगों के शवों का मिल पाना अब कोई संयोग ही हो सकता है.

राजबन में हुई तबाही के निशान (ETV Bharat)

पहले 7 साल बाद मिलता था मृत्यु प्रमाण पत्र

नियमों के तहत यदि कोई व्यक्ति 7 सालों तक लापता रहता है तो उसके बाद ही उसका मृत्यु प्रमाण पत्र जारी किया जा सकता है. जब तक मृत्यु प्रमाण पत्र जारी नहीं होता तब तक परिजनों या कानूनी उत्तराधिकारी को मुआवजा नहीं दिया जा सकता. ऐसे में केंद्र सरकार ने अब यह प्रावधान कर दिया है कि आपदा की स्थिति में लापता लोगों के बारे में जल्द से जल्द गहनता से सारे मामले की जांच पड़ताल करने के बाद उसका मृत्यु प्रमाण पत्र जारी कर दिया जाए

राजबन त्रासदी में अभी भी एक लापता (ETV Bharat)

डीसी मंडी अपूर्व देवगन ने बताया, "जिले के जिन-जिन उपमंडलों में त्रासदी के कारण लोग लापता हैं, उनके परिजनों से संबंधित दस्तावेज मांगकर क्षेत्र के एसडीएम द्वारा इस प्रक्रिया को पूरा किया जा रहा है. नियमों के तहत सारी प्रक्रिया को पूरा करने के बाद मृत्यु प्रमाण पत्र जारी कर दिए जाएंगे, ताकि परिजनों या कानूनी उत्तराधिकारियों को मुआवजा राशि दी जा सके."

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