श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव के लिए पहले चरण की वोटिंग 18 सितंबर को होनी है. इससे ठीक पहले सांसद इंजीनियर रशीद की अवामी इत्तेहाद पार्टी (एआईपी) और प्रतिबंधित जमात-ए-इस्लामी (जेईआई) ने कश्मीर घाटी में गठबंधन में चुनाव लड़ने का फैसला किया है. एआईपी प्रमुख इंजीनियर रशीद और प्रतिबंधित संगठन के पैनल प्रमुख गुलाम कादिर वानी ने रविवार को श्रीनगर में गठबंधन का ऐलान किया.
प्रतिबंधित जेईआई के पैनल प्रमुख शमीम अहमद ठोकर ने एआईपी के साथ गठबंधन की पुष्टि की. उन्होंने ईटीवी भारत से कहा, "हमने आज श्रीनगर में एक बैठक की, जिसमें हमने इंजीनियर रशीद की अवामी इत्तेहाद पार्टी के साथ चुनाव पूर्व गठबंधन करने का फैसला किया."
बैठक के बाद जारी एक बयान में एआईपी ने कहा कि हमारा लक्ष्य एआईपी और जेईआई उम्मीदवारों के लिए एक शानदार जीत सुनिश्चित करना है. यह सुनिश्चित करना है कि जम्मू-कश्मीर के लोगों के पास मजबूत प्रतिनिधि हों जो उनकी भावनाओं और आकांक्षाओं को व्यक्त कर सकें. यह सहयोग जम्मू-कश्मीर के लोगों के लिए शांति, न्याय और राजनीतिक सशक्तिकरण की खोज में संयुक्त मोर्चा बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है.
30 से अधिक सीटों पर चुनाव लड़ रही एआईपी
एआईपी कश्मीर घाटी में 30 से अधिक सीटों पर चुनाव लड़ रही है, जबकि प्रतिबंधित जमात-ए-इस्लामी उन निर्दलीय उम्मीदवारों का समर्थन कर रही है, जो पूर्व में उसके सदस्य थे. जमात-ए-इस्लामी ने दक्षिण कश्मीर के पुलवामा, कुलगाम, जैनपुरा और देवसर विधानसभा क्षेत्रों में अपने उम्मीदवार उतारे हैं, जहां पहले चरण में 18 सितंबर को मतदान होना है.
इसके अलावा जेईआई ने बीरवाह, लंगेट, बांदीपोरा, बारामुल्ला, सोपोर और राफियाबाद विधानसभा क्षेत्रों में भी उम्मीदवार खड़े किए हैं. लंगेट रशीद का गृह क्षेत्र है, जिसका प्रतिनिधित्व उन्होंने जम्मू-कश्मीर विधानसभा में दो बार किया है. विधानसभा चुनावों में इंजीनियर रशीद ने अपने भाई शेख खुर्शीद को मैदान में उतारा है, जो सरकारी टीचर थे लेकिन उन्होंने नौकरी छोड़ दी है.