नई दिल्ली : एसोसिएशन ऑफ डेमोक्रेटिक रिफॉर्म (एडीआर) के मुताबिक वर्तमान में दो सांसदों और 14 विधायकों पर रेप के आरोप हैं. ये नेता अलग-अलग पार्टियों से हैं. हालांकि, सबसे अधिक जनप्रतिनिधि भाजपा और कांग्रेस के हैं. दोनों के पांच-पांच नेता इन आरोपों का सामना कर रहे हैं.
एडीआर और नेशनल इलेक्शन वॉच ने 4809 चुनाव एफिडेविट्स (सांसद और विधायक मिलाकर) में से 4693 का विश्लेषण किया है. पिछले पांच सालों में इस रिपोर्ट ने सांसदों के 776 एफिडेविट में से 755 और 4033 विधायकों में से 3938 विधायकों का एफिडेविट विश्लेषित किया है. इनमें उप चुनाव में खड़े हुए उम्मीदवारों को भी शामिल किया गया है.
इनके अनुसार महिलाओं के खिलाफ आपराधिक मामलों में वर्तमान में 151 जनप्रतिनिधि शामिल हैं, जो या तो सांसद हैं या फिर किसी न किसी विधानसभा के सदस्य हैं. इनमें से 16 जनप्रतिनिधियों के खिलाफ रेप के गंभीर मामले दर्ज हैं.
डेटा 2019 से 2024 के बीच के वर्षों में हुए चुनावों के समय उम्मीदवारों (अब सांसदों और विधायकों) द्वारा ईसीआई को सौंपे गए हलफनामों (फॉर्म 26) से निकाला गया है. हालांकि, इस विश्लेषण में यह भी कहा गया है कि किस केस की क्या स्थिति है, इसमें उसे फैक्टर नहीं बनाया गया है और हो सकता है इसमें समय के साथ कानूनी स्थिति कुछ और हो सकती है, और इन डेवलप हो रही सूचनाओं को एडीआर ने हासिल नहीं किया है.
विभिन्न पार्टियों में, भाजपा के मौजूदा सांसदों और विधायकों की संख्या सबसे अधिक (54) है, इसके बाद कांग्रेस के 23 और टीडीपी के 17 मौजूदा सांसदों और विधायकों ने महिलाओं के खिलाफ अपराध से संबंधित मामलों की घोषणा की है.
राज्यों में, पश्चिम बंगाल में सबसे अधिक मौजूदा सांसद और विधायक (25) हैं, इसके बाद आंध्र प्रदेश में 21 और ओडिशा में 17 मौजूदा सांसदों ने महिलाओं के खिलाफ अपराध से संबंधित मामलों की घोषणा की है.
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