उत्तरकाशी: फरवरी-मार्च महीने से ही जनपद के धौन्तरी उपतहसील मुख्यालय में ग्रामीण बूंद-बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं. ग्रामीणों का कहना है कि वह नदी से जलापूर्ति करने के लिए मजबूर हैं, जबकि इस सम्बंध में जल संस्थान के अधिकारियों को जानकारी देने के साथ ही ऑनलाइन पोर्टल पर भी शिकायत की गई है. मगर उसके बाद भी जलापूर्ति को सुचारू करने के लिए किसी प्रकार की कार्रवाई नहीं हुई है. ग्रामीणों का कहना है कि पानी के मुख्य टैंकों की कई वर्षों से सफाई नहीं हुई है. कई स्थानों पर मुख्य पाइपलाइन क्षतिग्रस्त है, जिन्हें सही करने की बजाय कपड़ों से बांधकर टेप किया जा रहा है.
पढे़ं- टोल फ्री नंबर इस्तेमाल करने से पहले हो जाइए सावधान, वरना हो सकते हैं ठगी का शिकार
धौन्तरी उपतहसील मुख्यालय चारधाम यात्रा के तहत गंगोत्री-केदारनाथ यात्रा का मुख्य पड़ाव है. ग्रामीणों का कहना है कि अभी पहाड़ों में गर्मियों का सीजन बहुत दूर है. अभी से धौन्तरी में पानी की समस्या विकराल हो चुकी है. ग्रामीणों का कहना है कि करीब डेढ़ माह से पानी की आपूर्ति बाधित पड़ी हुई है. जल संस्थान के अधिकारी इस हद तक लापरवाह बने हुए हैं कि पाइपलाइनों में लकड़ियां फंसने के कारण चोक पड़ी हुई हैं. मगर विभाग उन्हें हटाने तक की जहमत नहीं उठा रहा है. वहीं, पानी के टैंकों में वर्षों से सफाई न होने के कारण बड़े-बड़े पत्थर और मिट्टी जमा हो गई है.
पढे़ं- उत्तराखंड बजट सत्र का दूसरा दिनः प्रश्नकाल में विपक्ष ने दागे सवाल
मुख्य पाइपलाइन कई स्थानों पर क्षतिग्रस्त है. जिनकी मरम्मत की बजाय जल संस्थान उन्हें कपड़ों से बांधकर जोड़ने की कोशिश कर रहा है. जबकि हर वर्ष जल संस्थान पाइप लाइनों की मरम्मत पर लाखों का बजट खर्च करता है. धौन्तरी उपतहसील मुख्यालय के ग्रामीणों और व्यापारियों का कहना है कि अभी जब यह स्थिति है तो भीषण गर्मी के दौरान न जाने क्या होगा.