देहरादून/रुद्रपुर: राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा और अंत्योदय योजना का लाभ ले रहे अपात्र लोग अब अपने राशन कार्ड सरेंडर कर रहे हैं. स्वेच्छा से कार्ड सरेंडर करने की छूट 30 जून को खत्म हो गई है. इस अभियान के तहत अपात्र लोगों को राशन कार्ड स्वयं सरेंडर कराने के लिए 30 जून तक समय दिया गया था. 30 जून तक प्रदेश भर से सभी जनपदों से अपात्र लोगों ने 86568 राशन कार्ड सरेंडर कराए हैं. यह अभियान 5 मई शुरू होने के बाद प्राथमिक परिवारों के 54287 कार्ड, अंत्योदय श्रेणी में 7351 कार्ड सरेंडर हुए. साथ ही राज्य खाद्य सुरक्षा योजना में 24930 लोगों ने कार्ड सरेंडर किए. अपात्र होने के बावजूद कार्ड सरेंडर न करने वालों के खिलाफ खाद्य विभाग जुलाई से एक्शन लेगा.
चमोली जिले में 4,376,पौड़ी गढ़वाल में 14,007, उत्तरकाशी 1,043,टिहरी गढ़वाल में 4,896, देहरादून में 15,529,रुद्रप्रयाग में 1,568,हरिद्वार में 16,259,उधमसिंह नगर में 11,792, नैनीताल में 5,877,चंपावत में 1, 301,बागेश्वर में 3, 265,अल्मोड़ा में 1,635 और पिथौरागढ़ में 5,020 राशन कार्ड सरेंडर किये गये हैं. साथ ही कुल 337960 यूनिट के 86568 राशन कार्ड जमा हुए हैं.
यूएसनगर जनपद में 9 हजार से अधिक अपात्र लोगों ने राशन कार्ड सरेंडर किया है. जिससे 4482 कुंतल राशन बच गया है. अब विभाग पात्र लोगों को इसे वितरित करने की तैयारी कर रहा है.
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा और अंत्योदय योजना से राशन डकार रहे अपात्र लोगों को कार्रवाई का डर सताने लगा है. जिसके बाद अपात्र लोग लगातार राशन कार्ड सरेंडर कर रहे हैं. उधमसिंह नगर जिले में अब तक 9867 राशन कार्ड जमा हो चुके हैं. जिसके चलते इन राशन कार्डों के 44 हजार 827 यूनिट की एवज में 4482 क्विंटल राशन अपात्रों के पास जाने से बच गया है.
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अब ये राशन कार्ड पात्र लोगों को दिए जाएंगे. वहीं, अपात्रों से बचा राशन योजना के असली हकदार तक पहुंचेगा. आलम ये है कि सरकारी कर्मचारी के अलावा अच्छा कारोबार करने वाले लोग भी कार्रवाई के डर से कार्ड जमा करने पूर्ति विभाग से दफ्तर में आ रहे हैं.