कोटद्वार: लैंसडाउन वन प्रभाग हाथियों के रहने की सबसे सुरक्षित जगह मानी जाती है. यहां सैकड़ों हाथी रहते हैं. रविवार देर शाम हाथियों का एक झुंड राष्ट्रीय राजमार्ग 534 को पार कर पानी की तलाश में खोह नदी पहुंचा. लोगों ने हाथियों की सूचना वन विभाग को दी. वन विभाग ने सड़क पर आवाजाही रोक दी. इसके बाद हाथियों के झुंड को सुरक्षित खोह नदी में पहुंचा दिया गया.
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लैंसडाउन वन प्रभाग दो नेशनल पार्कों के बीच का हिस्सा है. एक ओर कॉर्बेट नेशनल पार्क और दूसरी ओर राजाजी नेशनल पार्क है. लैंसडाउन वन प्रभाग वन्यजीवों के निवास करने की सुरक्षित जगह मानी जाती है. वर्तमान में सैकड़ों हाथी लैंसडाउन वन प्रभाग में आते-जाते रहते हैं. 12 से अधिक टाइगर भी इस वन प्रभाग में रहते हैं. रविवार देर शाम को एक हाथियों का झुंड कोटद्वार रेंज के जंगलों से निकलकर राष्ट्रीय राजमार्ग 534 को पार कर पानी की तलाश में खोह नदी पहुंचा. हाथियों के आने की सूचना पर वन विभाग की टीम ने सड़क को दोनों ओर आवाजाही के लिए बंद कर दिया. हाथियों के झुंड को सुरक्षित खोह नदी में पहुंचा दिया. इस दौरान हाथियों को देखने के लिए भारी संख्या में लोग इकट्ठा हो गए.