नैनीताल: आम जनता को न्याय दिलाने के लिए हमेशा तत्पर रहने वाली उत्तराखंड की मित्र पुलिस अपने विभागीय कर्मचारियों को इंसाफ दिला पाने में नाकाम साबित हो रही है. यही कारण है कि सिस्टम से परेशान होकर मल्लीताल कोतवाली पुलिस बैरक में एक सिपाही ने जहरीला पदार्थ खाकर आत्महत्या करने का प्रयास किया. साथी पुलिसकर्मियों ने पीड़ित सिपाही को बीडी पांडे अस्पताल में भर्ती कराया, जहां उसका उपचार चल रहा है.
जानकारी के मुताबिक पीड़ित सिपाही का नाम लक्ष्मण राणा है, जो इन दिनों रुद्रपुर के किच्छा में तैनात है. लक्ष्मण ने अपनी बोलेरो गाड़ी के चोरी होने की रिपोर्ट मल्लीताल कोतवाली में दर्ज कराई थी, लेकिन मामले में कोई कार्रवाई नहीं होने से परेशान लक्ष्मण ने सोमवार को पुलिस बैरक में जहरीला पदार्थ खाकर आत्महत्या करने का प्रयास किया. लेकिन इसी दौरान साथी पुलिसकर्मी की नजर उस पर पड़ गई और उन्होंने उसे तत्काल अस्पताल में भर्ती कराया.
क्या है मामला
लक्ष्मण ने 2015 में अपने दोस्त से बोलेरो गाड़ी खरीदी थी. जिसको लेकर उसका अपने दोस्त से विवाद चल रहा था. गाड़ी 3 साल तक लक्ष्मण के पास ही थी, लेकिन लक्ष्मण ने गाड़ी को अपने नाम नहीं करवाया था. इस बीच लक्ष्मण का दोस्त एक दिन उस गाड़ी को ले गया. लक्ष्मण ने अपने दोस्त के खिलाफ गाड़ी चोरी की एफआईआर मल्लीताल कोतवाली में दर्ज कराई थी.
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जिसके बाद पुलिस ने हल्द्वानी के टीपी नगर से उसके दोस्त के पास से गाड़ी को बरामद कर लिया. लेकिन इस दौरान उसके दोस्त ने पुलिस को बताया कि उसने कोई गाड़ी नहीं चुराई है और गाड़ी के कागज उसी के नाम हैं. इस मामले में लक्ष्मण ने उच्च अधिकारियों को भी पत्र लिखकर आरोपी के खिलाफ मुकदाम दर्ज कर गाड़ी वापस दिलाने की मांगी की थी.
लेकिन मामले में कोई कार्रवाई न होता देख सोमवार को लक्ष्मण में पुलिस बैरेक में जहरीला पदार्थ खाकर आत्महत्या करने का प्रयास किया. जिसकी फोटो उसने अपने उच्च अधिकारियों को भी भेजी है. बताया जा रहा है कि इससे पहले ही लक्ष्मण दो बार आत्महत्या का प्रयास कर चुका है. इस मामले में डीआईजी कुमाऊं अजय जोशी ने बताया कि सिपाही का अस्पताल में इलाज चल रहा है. इस मामले में वैधानिक कार्रवाई की जा रही है.