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कुमाऊं में प्रस्तावित न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट मामले में HC में सुनवाई, जनहित याचिका निरस्त

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Published : Aug 29, 2022, 3:26 PM IST

कुमाऊं के लिए प्रस्तावित न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट मामले पर हाईकोर्ट में सुनवाई हुई. हाईकोर्ट ने इस मामले में लगाई गई जनहित याचिका को निरस्त कर दिया है.

Hearing in HC on proposed new green field airport case in Kumaon
कुमाऊं में प्रस्तावित न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट मामले पर HC में सुनवाई

नैनीताल: हाईकोर्ट ने कुमाऊं के लिए प्रस्तावित न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट (Proposed New Green Field Airport) जीबी पंत यूनिवर्सिटी (GB Pant University) की भूमि में बनाए जाने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. मामले को सुनने के बाद मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी एवं न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे की खण्डपीठ ने जनहित याचिका को निरस्त कर दिया है. मामले में राज्य सरकार की ओर से कहा गया कि यह मामला अभी कैबिनेट में विचाराधीन है, जिस पर निर्णय लिया जाना अभी बाकी है. एयरपोर्ट कहां बनाया जाएगा, ये कैबिनेट के निर्णय के बाद ही तय होगा. इसलिए जनहित याचिका को निरस्त किया जाये.

पंतनगर निवासी केशव कुमार पासी ने जनहीत याचिका दायर कर कहा कि कुमाऊं के लिए प्रस्तावित न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट को पंतनगर यूनिवर्सिटी के बीच में बनाया जाना प्रस्तावित है. प्रस्तावित एयरपोर्ट को उत्तराखंड के लोगों की सुविधा को ध्यान में रखकर बनाया जाए. न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट बनने से पंतनगर यूनिवर्सिटी के अस्तित्व को बचाया जाए. यहां पर एयरपोर्ट बनने से उत्तराखंड के लोगों को एयरपोर्ट पहुंचने के लिए दिक्कतों का भी सामना करना पड़ेगा. प्रस्तावित एयरपोर्ट को यूनिवर्सिटी के बीच में न बनाकर नैनीताल एवं उधमसिंह नगर की तलहटी में खाली पड़ी लगभग 76 हजार 800 सौ एकड़ सरकारी जमीन पर बनाया जाना चाहिए.

पढें- मुख्यमंत्री उदीयमान खिलाड़ी योजना का शुभारंभ, खेल पालिसी में शामिल होगा मलखम्ब

यूनिवर्सिटी के आसपास सिडकुल, स्टेट हाईवे 37, पुराना एयरपोर्ट पांच नदियां एवं 6 नहरें हैं. अगर यहां प्रस्तावित एयरपोर्ट बनता है तो यूनिवर्सिटी का अस्तित्व खतरे में पड़ जाएगा. पन्तनगर एयरपोर्ट अभिभाजित उत्तर प्रदेश ने अपनी सुविधाओं को लेकर 1957 में बनाया गया था और अब उत्तराखंड अलग राज्य बन चुका है. इसलिए नए एयरपोर्ट को उत्तराखंड की सुविधाओं के अनुसार बनाया जाए.

सचिव नागरिक उड्डयन मंत्रालय भारत सरकार ने 16 मार्च 2020 को उधम सिंह नगर के बरहैनी में एयरपोर्ट के लिए प्रस्ताव मांगा गया था. उसके बाद भी जिला अधिकारी ने गुपचुप तरीके से पंतनगर विश्वविद्यालय का प्रस्ताव भेजा. उन्होंने अपने प्रस्ताव में यह भी कहा था कि इस जगह में आबादी नहीं है. जबकि यहां पर नगला, सिडकुल, विश्वविद्यालय, किच्छा, रुद्रपुर आबादी वाले क्षेत्र हैं. अगर एयरपोर्ट प्रस्तावित क्षेत्र में बनाया जाता है तो आम लोगों को पुराने एयरपोर्ट से 14 किलोमीटर और दूर जाना पड़ेगा.

नैनीताल: हाईकोर्ट ने कुमाऊं के लिए प्रस्तावित न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट (Proposed New Green Field Airport) जीबी पंत यूनिवर्सिटी (GB Pant University) की भूमि में बनाए जाने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. मामले को सुनने के बाद मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी एवं न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे की खण्डपीठ ने जनहित याचिका को निरस्त कर दिया है. मामले में राज्य सरकार की ओर से कहा गया कि यह मामला अभी कैबिनेट में विचाराधीन है, जिस पर निर्णय लिया जाना अभी बाकी है. एयरपोर्ट कहां बनाया जाएगा, ये कैबिनेट के निर्णय के बाद ही तय होगा. इसलिए जनहित याचिका को निरस्त किया जाये.

पंतनगर निवासी केशव कुमार पासी ने जनहीत याचिका दायर कर कहा कि कुमाऊं के लिए प्रस्तावित न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट को पंतनगर यूनिवर्सिटी के बीच में बनाया जाना प्रस्तावित है. प्रस्तावित एयरपोर्ट को उत्तराखंड के लोगों की सुविधा को ध्यान में रखकर बनाया जाए. न्यू ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट बनने से पंतनगर यूनिवर्सिटी के अस्तित्व को बचाया जाए. यहां पर एयरपोर्ट बनने से उत्तराखंड के लोगों को एयरपोर्ट पहुंचने के लिए दिक्कतों का भी सामना करना पड़ेगा. प्रस्तावित एयरपोर्ट को यूनिवर्सिटी के बीच में न बनाकर नैनीताल एवं उधमसिंह नगर की तलहटी में खाली पड़ी लगभग 76 हजार 800 सौ एकड़ सरकारी जमीन पर बनाया जाना चाहिए.

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यूनिवर्सिटी के आसपास सिडकुल, स्टेट हाईवे 37, पुराना एयरपोर्ट पांच नदियां एवं 6 नहरें हैं. अगर यहां प्रस्तावित एयरपोर्ट बनता है तो यूनिवर्सिटी का अस्तित्व खतरे में पड़ जाएगा. पन्तनगर एयरपोर्ट अभिभाजित उत्तर प्रदेश ने अपनी सुविधाओं को लेकर 1957 में बनाया गया था और अब उत्तराखंड अलग राज्य बन चुका है. इसलिए नए एयरपोर्ट को उत्तराखंड की सुविधाओं के अनुसार बनाया जाए.

सचिव नागरिक उड्डयन मंत्रालय भारत सरकार ने 16 मार्च 2020 को उधम सिंह नगर के बरहैनी में एयरपोर्ट के लिए प्रस्ताव मांगा गया था. उसके बाद भी जिला अधिकारी ने गुपचुप तरीके से पंतनगर विश्वविद्यालय का प्रस्ताव भेजा. उन्होंने अपने प्रस्ताव में यह भी कहा था कि इस जगह में आबादी नहीं है. जबकि यहां पर नगला, सिडकुल, विश्वविद्यालय, किच्छा, रुद्रपुर आबादी वाले क्षेत्र हैं. अगर एयरपोर्ट प्रस्तावित क्षेत्र में बनाया जाता है तो आम लोगों को पुराने एयरपोर्ट से 14 किलोमीटर और दूर जाना पड़ेगा.

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