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इस वजह से आजकल डाइटिंग कर रहे नैनीताल चिड़ियाघर के जानवर

नैनीताल चिड़ियाघर में करीब 4 बाघ और 9 गुलदार हैं. जिन्हें रोजाना 8 किलो मांस खिलाया जा रहा है. साथ ही हफ्ते में इन जानवरों का पाचन तंत्र सही रखने के लिए एक दिन डाइटिंग पर रखा जा रहा है.

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नैनीताल जू
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Published : Jan 8, 2020, 1:07 PM IST

नैनीतालः 'जो फिट है, वो हिट है' ये लाइनें केवल इंसानों के लिए ही नहीं बल्कि जू समेत रेस्क्यू सेंटर में बंद जानवरों के लिए भी हैं. इन दिनों जू में बंद जानवर बाघ, गुलदार आदि को फिट रखने के लिए जू प्रबंधन उनके डाइट पर खासा ध्यान दे रहा है. इतना ही नहीं उनके शरीर को गर्म रखने के लिए नियमानुसार अंडे और शहद भी दिया जा रहा है. जिससे वे स्वस्थ और तंदुरस्त रह सकें.

नैनीताल जू में जानवरों की हो रही विशेष देखभाल.

बता दें कि, नैनीताल चिड़ियाघर में करीब 4 बाघ और 9 गुलदार हैं. जिन्हें रोजाना 8 किलो मांस खिलाया जाता है और हफ्ते में इन जानवरों का पाचन तंत्र सही रखने के लिए एक दिन डाइटिंग पर रखा जाता है. इतना ही नहीं जू में बंद इन जानवरों को हफ्ते में एक बार चिकन का स्वाद भी चखाया जा रहा है.

ये भी पढ़ेंः वन विभाग का नया कारनामा, बर्फ से ढके इलाके में सड़क मरम्मत के लिए जारी कर दिया टेंडर

वहीं, जू प्रबंधन छोटे जानवरों को फिट रखने के लिए गाय और बकरी का दूध पिला रहा है. उनके शरीर को गर्म रखने के लिए नियमानुसार अंडे, शहद समेत विभिन्न प्रकार के फल भी दिए जा रहे हैं. इतना ही नहीं बड़े मांसाहारी जानवरों को करीब 12 तरह का मांस दिया जा रहा है.

ये भी पढ़ेंः स्वच्छ भारत अभियान को लग रहा पलीता, अमलावा नदी में धड़ल्ले से फेंका जा रहा कूड़ा

नैनीताल के डीएफओ टीआर बीजूलाल का कहना है कि मांसाहारी जानवर खुले जंगलो में कई किलोमीटर तक रोजाना घूमते हैं. जिस वजह से उनका पाचन सही रहता है. जिसे देखते हुए जू में इन जानवरों के पाचन को ठीक रखने के लिए केंद्रीय जू प्राधिकरण के नियमानुसार हफ्ते में एक बार डाइटिंग करवाई जा रही है.

नैनीतालः 'जो फिट है, वो हिट है' ये लाइनें केवल इंसानों के लिए ही नहीं बल्कि जू समेत रेस्क्यू सेंटर में बंद जानवरों के लिए भी हैं. इन दिनों जू में बंद जानवर बाघ, गुलदार आदि को फिट रखने के लिए जू प्रबंधन उनके डाइट पर खासा ध्यान दे रहा है. इतना ही नहीं उनके शरीर को गर्म रखने के लिए नियमानुसार अंडे और शहद भी दिया जा रहा है. जिससे वे स्वस्थ और तंदुरस्त रह सकें.

नैनीताल जू में जानवरों की हो रही विशेष देखभाल.

बता दें कि, नैनीताल चिड़ियाघर में करीब 4 बाघ और 9 गुलदार हैं. जिन्हें रोजाना 8 किलो मांस खिलाया जाता है और हफ्ते में इन जानवरों का पाचन तंत्र सही रखने के लिए एक दिन डाइटिंग पर रखा जाता है. इतना ही नहीं जू में बंद इन जानवरों को हफ्ते में एक बार चिकन का स्वाद भी चखाया जा रहा है.

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वहीं, जू प्रबंधन छोटे जानवरों को फिट रखने के लिए गाय और बकरी का दूध पिला रहा है. उनके शरीर को गर्म रखने के लिए नियमानुसार अंडे, शहद समेत विभिन्न प्रकार के फल भी दिए जा रहे हैं. इतना ही नहीं बड़े मांसाहारी जानवरों को करीब 12 तरह का मांस दिया जा रहा है.

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नैनीताल के डीएफओ टीआर बीजूलाल का कहना है कि मांसाहारी जानवर खुले जंगलो में कई किलोमीटर तक रोजाना घूमते हैं. जिस वजह से उनका पाचन सही रहता है. जिसे देखते हुए जू में इन जानवरों के पाचन को ठीक रखने के लिए केंद्रीय जू प्राधिकरण के नियमानुसार हफ्ते में एक बार डाइटिंग करवाई जा रही है.

Intro:Summry

फिट रहने के लिए नैनीताल जू के जानवर रहते हैं एक डाइटिंग पर।

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जो फिट है वो हिट है यह कहावत केवल इंसानों के लिए नहीं बल्कि ज़ू समेत रेस्क्यू सेंटर में बंद जानवरों के लिए सटीक साबित होती है, क्योंकि इन दिनों ज़ू में बंद जानवरों को फिट रखने के लिए ज़ू प्रबंधन शेर, बाघ, गुलदार की डाइट पर खासा ध्यान दे रहा है।


Body:जू प्रबंधन द्वारा छोटे जानवरों को फिट रखने के लिए गाय और बकरी का दूध पिलाया जा रहा है, और जानवरों के शरीर को गर्म रखने के लिए नियमानुसार अंडे, शहद समेत विभिन्न प्रकार के फल दिए जा रहे हैं ताकि जानवर स्वस्थ और तंदुरुस्त रह सकें,,
इतना ही नहीं बड़े मांसाहारी जानवरों को करीब 12 तरह के जानवरों का मांस दिया जा रहा है, ज़ू के इन मांसाहारी जानवरों जानवरों को हफ्ते में एक बार डाइटिंग पर भी रखा जाता है ताकि जानवरों का पाचन तंत्र बना रहे।
आपको बता दे की नैनीताल चिड़ियाघर में करीब 4 बाग 9 गुलदार हैं जिनको हर रोज 8 किलो मांस खिलाया जाता है और सप्ताह में इन जानवरों के पाचन तंत्र बने रहने के लिए डाइटिंग पर रखा जाता है इतना ही नहीं जू में बन्द इन जानवरों को सप्तहा में एक बार चिकन का स्वाद भी जाया जाता है



Conclusion:नैनीताल के डीएफओ टीआर बीजूलाल बताते हैं कि मांसाहारी जानवर खुले जंगलो में कई किलोमीटर तक हर रोज घूमते हैं जिस वजह से उनका पाचन बना रहता है और जू मे इन जानवरों के पाचन को बनाने के लिए केंद्रीय ज़ू प्राधिकरण के नियम अनुसार हफ्ते में एक बार डाइटिंग में रखा जाता है।

बाईट- टीआर बीजू लाल, डीएफओ।
बाईट- अनिता चंद, निदेशक ज़ू नैनीताल।
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