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DGP अशोक कुमार ने किया आपदाग्रस्त क्षेत्रों का दौरा, नैनीताल SSP की पीठ थपथपाई

उत्तराखंड में भारी बारिश के बाद आई आपदा के बाद डीजीपी अशोक कुमार ने आपदाग्रस्त क्षेत्रों का निरीक्षण किया है. इस दौरान डीजीपी अशोक कुमार ने नैनीताल पुलिस द्वारा आपदा के दौरान किए गए कार्यो को लेकर एसएसपी नैनीताल की पीठ थपथपाई और पूरी पुलिस टीम की सराहना की. साथ ही आपदा के दौरान उत्कृष्ट सराहनीय कार्य करने वाले अधिकारी और कर्मचारियों को 26 जनवरी में सम्मानित करने की बात कही है.

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अशोक कुमार ने किया आपदाग्रस्त क्षेत्रों का निरीक्षण
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Published : Oct 24, 2021, 3:08 PM IST

Updated : Oct 24, 2021, 5:04 PM IST

हल्द्वानी: उत्तराखंड पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार आज हल्द्वानी पहुंचे. इस दौरान उन्होंने आपदा प्रभावित क्षेत्र काठगोदाम के अलावा रेलवे लाइन और गौला से सटे क्षेत्र का निरीक्षण किया. जिसके बाद उन्होंने अधिकारियों के साथ बैठक की. डीजीपी ने बताया कि अब तक उत्तराखंड में आपदा से 76 लोगों की मौत हुई है.

इस दौरान डीजीपी अशोक कुमार ने नैनीताल पुलिस द्वारा आपदा के दौरान किए गए कार्यो को लेकर एसएसपी नैनीताल की पीठ थपथपाई और पूरी पुलिस टीम की सराहना की. साथ ही आपदा के दौरान उत्कृष्ट सराहनीय कार्य करने वाले अधिकारी और कर्मचारियों को 26 जनवरी में सम्मानित करने की बात कही है.

डीजीपी अशोक कुमार ने बताया कि आपदा से राज्य में अबतक 71 लोगों की जान चली गई. 14 लोग अब भी लापता है, जिसमें 8 लोग ट्रैकिंग दल के हैं. वहीं, अबतक उत्तराखंड पुलिस ने 65 हजार से अधिक लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया है और करीब 9,900 लोगों को पुलिस ने रेस्क्यू किया है.

DGP अशोक कुमार ने किया आपदाग्रस्त क्षेत्रों का दौरा.

ये भी पढ़ें: CM धामी ने गौला पुल का दूसरी बार किया निरीक्षण, जल्द निर्माण के दिए निर्देश

अशोक कुमार ने कहा कुमाऊं में 9,400 और गढ़वाल के 500 लोगों को रेस्क्यू किया गया है. कई इलाकों में अभी सर्च और रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. पुलिस टीमें 24 घंटे अलर्ट पर हैं. आपदा के दौरान तत्काल बचाव और राहत कार्य करने के लिए एसएसपी नैनीताल की पीठ थपथपाई. साथ ही उन्होंने कहा कि आपदा में सराहनीय कार्य करने वाले अधिकारी और कर्मचारी 26 जनवरी को सम्मानित किये जायेंगे.

आपदा क्षेत्रों का भ्रमण करने के बाद डीजीपी ने पुलिस बहुउदेद्शीय भवन, हल्द्वानी के सभागार में 16 से 23 अक्टूबर तक नैनीताल जनपद पुलिस द्वारा आपदा के दौरान किये गए कार्यों की समीक्षा की. इस दौरान जानकारी मिली कि 16 अक्टूबर को नैनीताल पुलिस ने 6113 वाहनों में कुल 13,207 व्यक्तियों को पर्वतीय क्षेत्र में जाने से लोगों को रोका. 8889 लोगों को विस्थापित और 2920 लोगों को रेस्क्यू किया. 3646 लोगों को खाद्य सामग्री वितरित की गयी.

इसके अलावा एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के सहयोग से नैनीताल पुलिस ने 32 शवों को निकाला. जिसमें 30 शिनाख्त की जा चुकी है. आपदा राहत टीम में एनडीआरएफ के 44 जवान, एसडीआरएफ के 12, पीएसी की 2 कंपनी, फायर यूनिट की 7 टीमें, जल पुलिस 5, सेना के 70 जवान और जनपदीय पुलिस के 1572 अधिकारी और कर्मचारियों ने सहयोग दिया.

जनपद में 1,604 लोगों द्वारा आपदा से संबंधित सूचनाएं और पुलिस के सोशल मीडिया पर 83 सूचनाएं दी गयी. जिनका जल्द समाधान करते हुए पीड़ितों को सहायता पहुंचायी गई. आपदा ग्रस्त क्षेत्र रामगढ़, ओखलकांडा और खैरना क्षेत्र में विद्युत आपूर्ति बंद होने से मोबाइल से संपर्क न होने के कारण इन स्थानों में वायरलेस स्थापित किया गया.

हल्द्वानी: उत्तराखंड पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार आज हल्द्वानी पहुंचे. इस दौरान उन्होंने आपदा प्रभावित क्षेत्र काठगोदाम के अलावा रेलवे लाइन और गौला से सटे क्षेत्र का निरीक्षण किया. जिसके बाद उन्होंने अधिकारियों के साथ बैठक की. डीजीपी ने बताया कि अब तक उत्तराखंड में आपदा से 76 लोगों की मौत हुई है.

इस दौरान डीजीपी अशोक कुमार ने नैनीताल पुलिस द्वारा आपदा के दौरान किए गए कार्यो को लेकर एसएसपी नैनीताल की पीठ थपथपाई और पूरी पुलिस टीम की सराहना की. साथ ही आपदा के दौरान उत्कृष्ट सराहनीय कार्य करने वाले अधिकारी और कर्मचारियों को 26 जनवरी में सम्मानित करने की बात कही है.

डीजीपी अशोक कुमार ने बताया कि आपदा से राज्य में अबतक 71 लोगों की जान चली गई. 14 लोग अब भी लापता है, जिसमें 8 लोग ट्रैकिंग दल के हैं. वहीं, अबतक उत्तराखंड पुलिस ने 65 हजार से अधिक लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया है और करीब 9,900 लोगों को पुलिस ने रेस्क्यू किया है.

DGP अशोक कुमार ने किया आपदाग्रस्त क्षेत्रों का दौरा.

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अशोक कुमार ने कहा कुमाऊं में 9,400 और गढ़वाल के 500 लोगों को रेस्क्यू किया गया है. कई इलाकों में अभी सर्च और रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. पुलिस टीमें 24 घंटे अलर्ट पर हैं. आपदा के दौरान तत्काल बचाव और राहत कार्य करने के लिए एसएसपी नैनीताल की पीठ थपथपाई. साथ ही उन्होंने कहा कि आपदा में सराहनीय कार्य करने वाले अधिकारी और कर्मचारी 26 जनवरी को सम्मानित किये जायेंगे.

आपदा क्षेत्रों का भ्रमण करने के बाद डीजीपी ने पुलिस बहुउदेद्शीय भवन, हल्द्वानी के सभागार में 16 से 23 अक्टूबर तक नैनीताल जनपद पुलिस द्वारा आपदा के दौरान किये गए कार्यों की समीक्षा की. इस दौरान जानकारी मिली कि 16 अक्टूबर को नैनीताल पुलिस ने 6113 वाहनों में कुल 13,207 व्यक्तियों को पर्वतीय क्षेत्र में जाने से लोगों को रोका. 8889 लोगों को विस्थापित और 2920 लोगों को रेस्क्यू किया. 3646 लोगों को खाद्य सामग्री वितरित की गयी.

इसके अलावा एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के सहयोग से नैनीताल पुलिस ने 32 शवों को निकाला. जिसमें 30 शिनाख्त की जा चुकी है. आपदा राहत टीम में एनडीआरएफ के 44 जवान, एसडीआरएफ के 12, पीएसी की 2 कंपनी, फायर यूनिट की 7 टीमें, जल पुलिस 5, सेना के 70 जवान और जनपदीय पुलिस के 1572 अधिकारी और कर्मचारियों ने सहयोग दिया.

जनपद में 1,604 लोगों द्वारा आपदा से संबंधित सूचनाएं और पुलिस के सोशल मीडिया पर 83 सूचनाएं दी गयी. जिनका जल्द समाधान करते हुए पीड़ितों को सहायता पहुंचायी गई. आपदा ग्रस्त क्षेत्र रामगढ़, ओखलकांडा और खैरना क्षेत्र में विद्युत आपूर्ति बंद होने से मोबाइल से संपर्क न होने के कारण इन स्थानों में वायरलेस स्थापित किया गया.

Last Updated : Oct 24, 2021, 5:04 PM IST
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