हरिद्वारः इन दिनों हरिद्वार की सड़कों पर दिन हो या रात जंगली जानवरों का आना आम हो गया है. आलम ये है कि जंगली जानवर कभी भी रिहायशी इलाकों में धमक रहे हैं. जिसके चलते लोग अब बाहर निकलने में कतरा रहे हैं. खासकर हरिद्वार के जगदीशपुर और भेल क्षेत्र में वन्यजीवों लगातार नजर आ रहे हैं. ये वन्यजीव फसलों को रौंद रहे हैं तो लोगों के होश भी उड़ा रहे हैं. स्थानीय लोग वन विभाग से वन्यजीवों के आतंक से निजात दिलाने की मांग कर रहे हैं. वहीं, वन विभाग का कहना है कि वन्यजीवों को रोकने का प्रयास किया जा रहा है.
बता दें कि हरिद्वार शहर का बड़ा क्षेत्र राजाजी टाइगर रिजर्व और हरिद्वार वन प्रभाग से सटा हुआ है. ऐसे में तमाम इंतजामों के बावजूद जंगली हाथी, गुलदार और नीलगाय जैसे जानवर रिहायशी इलाकों में आ धमकते हैं. पिछले कुछ दिनों से रिहायशी इलाकों में जंगली जानवरों के घुसने की घटनाएं ज्यादा बढ़ गई है. वन्यजीव न केवल फसलों को चौपट कर रहे हैं, बल्कि उत्पात भी मचा रहे हैं. इसकी वजह से स्थानीय लोगों में डर का माहौल है. वन विभाग के अफसरों का दावा है कि उनकी ओर से हर स्तर पर वन्यजीवों को रोकने का प्रयास किया जाता है.
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हरिद्वार डीएफओ नीरज शर्मा का कहना है कि वन विभाग की ओर से जंगली जानवरों के रिहायशी इलाकों में आने के लिए क्विक रिस्पांस टीम में भी हर चौकी में बनाई गई हैं, जो लगातार क्षेत्र का भ्रमण करती रहती है और सुनिश्चित करती है कि जंगली जानवर किसी भी तरह से आबादी वाले क्षेत्र में नुकसान न पहुंचाएं. इसके साथ ही विभाग की ओर से कई प्लान पर काम किया जा रहा है. जिसके तहत बाउंड्री वॉल की मरम्मत के साथ लोगों जागरूक किया जा रहा है. इसके अलावा कुछ ऐसे कामों को लेकर लोगों को प्रेरित किया जा रहा है. ताकि, जंगली जानवर शहर की ओर आकर्षित न हों.
वहीं, जंगली जानवरों के आबादी क्षेत्र में आने से स्थानीय लोगों में दहशत बनी हुई है. जानवर फसलों को भी चट कर रहे हैं. ऐसा नहीं है कि जानवर नुकसान ही नहीं पहुंचा रहे हैं, बल्कि अपनी जान भी गंवा रहे हैं. बीते दिनों भी जमालपुर रेलवे फाटक के पास एक हाथी की ट्रेन की चपेट में आने से मौत हो गई थी. वहीं, बीएचईएल स्थित एक स्कूल में भी गुलदार आ धमका था. जिससे स्कूली बच्चों की जान आफत में आ गई थी. इन जंगली जानवरों का आतंक जगजीतपुर से लेकर बीएचईएल तक फैला है. ऐसे में लोग वन विभाग से इस पर रोक लगाने की मांग कर रहे हैं.