देहरादून/हरिद्वार/हल्द्वानीः मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को लेकर हाई कोर्ट के आदेश के बाद से प्रदेशभर में सियासी पारा चरम पर है. एक तरफ बीजेपी मुख्यमंत्री को कवर करने का प्रयास कर रही है. दूसरी तरफ विपक्षी पार्टियां इसे अवसर के रुप में देख रही है और राज्य सरकार को घेरने का कोई मौका नहीं छोड़ रही है. एक तरफ कांग्रेस पार्टी ने आज राजभवन कूच करके अपने इरादे साफ कर दिए. दूसरी तरफ प्रदेश में अन्य विपक्षी पार्टियों समाजवादी पार्टी, आम आदमी पार्टी और भाकपा (माले) भी अपनी ओर से सरकार के खिलाफ विरोध दर्ज करते हुए मुख्यमंत्री रावत के इस्तीफे की मांग कर रही है. हालांकि आज ही सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट के सीबीआई जांच के आदेश पर रोक लगा दी है. इस फैसले को बीजेपी सरकार अपनी जीत के रूप में देख रही है.
'आप' का सीएम आवास कूच, मांगा इस्तीफा
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत पर भ्रष्टाचार के आरोपों को लेकर हाई कोर्ट के सीबीआई जांच के आदेश को लेकर विपक्ष सरकार पर लगातार हमलावर है. आज देहरादून में आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने मुख्यमंत्री से इस्तीफे की मांग को लेकर मुख्यमंत्री आवास कूच किया. ऐसे में भारी पुलिस बल ने हाथीबड़कला चौकी पर प्रदर्शनकारियों को बैरीकेडिंग लगाकर रोक दिया.
आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने कहा कि मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत को नैतिकता के आधार पर तुरंत इस्तीफा दे देना चाहिए. जिस तरह से उनके ऊपर गंभीर आरोप लगे हैं. उसके चलते उनको पद पर बैठने का कोई अधिकार नहीं है. आप प्रवक्ता नवीन प्रशाली ने कहा कि मुख्यमंत्री के खिलाफ भ्रष्टाचार के मामलों में जांच के आदेश सीबीआई को दिए गए हैं. ऐसे में मुख्यमंत्री के पद पर उन्हें बने रहने का कोई अधिकार नहीं है.
पूर्व नियोजित कार्यक्रम के तहत आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता दिलाराम चौक पर एकत्रित हुए. जहां से जुलूस की शक्ल में उन्होंने सीएम आवास के लिए पैदल मार्च निकाला. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने सीएम त्रिवेंद्र रावत के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. सभी प्रदर्शनकारियों को पुलिस बल में सीएम आवास से पहले हाथीबड़कला चौकी के निकट बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. इस दौरान पुलिस और आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं में जमकर धक्का-मुक्की हुई.
फूंका मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत का पुतला
हाई कोर्ट के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत पर मुकदमा दर्ज कर सीबीआई जांच करने के फैसले के बाद कांग्रेस ने राज्य सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. नैनीताल में प्रदर्शन कर रहे कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने सीएम रावत का पुतला दहन किया. प्रदर्शनकारियों ने कहा कि भले ही मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को सुप्रीम कोर्ट से अंतरिम राहत मिल गई है. लेकिन भ्रष्टाचार के मामले में प्रदेश के राज्यपाल को हाईकोर्ट के आदेश पर कार्रवाई करनी चाहिए.
'आप' ने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र से मांगा इस्तीफा
हरिद्वार में आम आदमी पार्टी ने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत से इस्तीफे की मांग की है. पार्टी की प्रदेश प्रवक्ता हेमा भंडारी ने कहा कि वरिष्ठ पत्रकार उमेश कुमार द्वारा फेसबुक पोस्ट पर मुख्यमंत्री के खिलाफ भ्रष्टाचार के गम्भीर आरोप लगाए गए थे. जिसपर एक याचिकाकर्ता द्वारा दायर याचिका को उच्च न्यायालय ने निरस्त कर त्रिवेंद्र रावत पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों की सीबीआई जांच के आदेश दिए हैं.
उन्होंने कहा कि हाई कोर्ट के इस फैसले का आम आदमी पार्टी स्वागत करती है और इस मामले की निष्पक्ष जांच के आदेश दिए हैं. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री को नैतिक आधार पर इस्तीफा दे देना चाहिए. हेमा भंडारी ने कहा कि प्रदेश के इतिहास में ये पहली बार है जब किसी मुख्यमंत्री पर न्यायालय द्वारा सीबीआई जांच के आदेश दिए गए हों. ऐसे में मुख्यमंत्री को पद की गरिमा को ध्यान में रखते हुए इस्तीफा देकर सीबीआई जांच में सहयोग करना चाहिए.
भाकपा (माले) ने राज्य में जीरो टॉलरेंस पर उठाए सवाल
नैनीताल हाई कोर्ट ने कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों पर सीबीआई जांच के आदेश दिए थे. इस पर भाकपा माले ने प्रदेश सरकार पर हमला बोला है. हल्द्वानी में पार्टी के सचिव कैलाश पांडेय ने पत्रकारवार्ता के दौरान बताया कि हाई कोर्ट के आदेश के बाद एक बात स्पष्ट हो गई है कि राज्य में जीरो टॉलरेंस का ढोल पीटने वाली सरकार की पोल खुल गई है. ऐसे में इस सरकार को राज्य में बने रहने का कोई अधिकार नहीं है.
कैलाश पांडेय ने कहा कि नैतिकता के आधार पर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को इस्तीफा दे देना चाहिए. कैलाश पांडेय ने कहा कि त्रिवेंद्र रावत के मुख्यमंत्री बनने से पहले ही उन पर ढैंचा बीज घोटाले जैसे भ्रष्टाचार के कई गंभीर आरोप लगे थे. इस पूरे मामले से यह भी सिद्ध हो गया है कि प्रदेश में विरोधियों को निपटाने के लिए सत्ता का दुरूपयोग किया जा रहा है. पूरी सरकारी मशीनरी का उपयोग इसी काम के लिए किया जा रहा है.
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जनता के बीच जाकर सरकार की पोल खोलेगी सपा
हल्द्वानी में समाजवादी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सत्यनारायण सचान ने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत पर जमकर हल्ला बोला. हाल ही में हाई कोर्ट द्वारा भ्रष्टाचार मामले में सीबीआई जांच के आदेश पर सपा अध्यक्ष सचान ने कहा कि इन आरोपों से घिरने के बाद मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को अविलंब इस्तीफा दे देना चाहिए था.
राज्य की कैबिनेट को भी ये निर्णय लेना चाहिए कि राज्य बनने से लेकर अब तक जितने भ्रष्टाचार के मामले सामने आए हैं, सभी की निष्पक्ष जांच होनी चाहिए.उन्होंने कहा कि समाजवादी पार्टी लंबे समय से इस बात को उठाती रही है कि राज्य में जिस-जिस दल ने सत्ता पर राज किया, उन सभी दलों और उनकी सरकारों ने उत्तराखंड को भ्रष्टाचार की मिनी प्रयोगशाला के रूप में इस्तेमाल किया. पहले भाटी आयोग बना फिर त्रिपाठी आयोग, लेकिन किसी भी सरकार का कोई घोटाला उजागर नहीं हुआ. इससे साफ जाहिर होता है कि कांग्रेस और भाजपा इस प्रदेश में बारी-बारी लूटो अभियान के तहत कार्य कर रही है.
सचान ने कहा कि समाजवादी पार्टी अब इनकी सांठगांठ की पोल खोलने के लिए इस भ्रष्टाचारी सरकार के खिलाफ नवम्बर माह से जनता के बीच जाकर बिगुल बजाएगी.