हरिद्वार: 19 सितंबर को पूरे देश में शुरू होने वाले गणपति महोत्सव को लेकर इस बार हरिद्वार जिला प्रशासन सख्त नजर आ रहा है. इस बार जिला प्रशासन द्वारा हरिद्वार के गंगा घाटों पर मूर्ति विसर्जन पर रोक लगाई गई है. इस बार मूर्ति विसर्जन के लिए हरिद्वार के जिला प्रशासन ने 3 पॉइंट चयनित किए हैं, जहां पर गणपति विसर्जन किया जाएगा. वहीं मुख्य नगर आयुक्त दयानंद सरस्वती ने बताया कि इस बार हरिद्वार के गंगा घाटों पर मूर्ति विसर्जन नहीं करने दिया जाएगा. मूर्ति विसर्जन को लेकर 3 जगहों को चिन्हित किया गया है, जहां पर आयोजक मूर्ति विसर्जन कर सकेंगे.
इन स्थानों पर किया जाएगा मूर्ति विसर्जन: मुख्य नगर आयुक्त दयानंद सरस्वती ने बताया कि गंगा में मूर्ति विसर्जन को लेकर एनजीटी व हरिद्वार के जिला अधिकारी के सख्त निर्देश हैं कि हरिद्वार के गंगा घाट में मूर्ति विसर्जन ना किया जाए. इसके लिए नगर निगम द्वारा बैरागी कैंप और वीआईपी घाट के समीप और कनखल पर यह जगह बनाए गए हैं. जहां पर आयोजक गणपति की मूर्ति का विसर्जन कर सकेंगे. इसी के साथ दयानंद सरस्वती ने कहा कि हमारे द्वारा इन तीनों जगहों पर उचित लाइट और सभी व्यवस्थाएं की जा रही हैं, ताकि आयोजकों को किसी भी तरह की दिक्कत ना हो.
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छोटी मूर्ति पसंद कर रहे आयोजन: बता दें कि 19 सितंबर से गणेश चतुर्थी के दिन पूरे देश में गणपति महोत्सव की शुरुआत हो जाएगी. प्रथम पूज्य श्री गणेश को पूजने के लिए पूरे देश के साथ-साथ धर्मनगरी हरिद्वार में भी उत्साह देखने को मिलता है. लेकिन इस बार एनजीटी के नियम और जिला प्रशासन की सख्ती के कारण मूर्तिकारों में भी असमंजस की स्थिति बनी हुई है. मूर्तिकार 4 फीट से ज्यादा की मूर्ति इस बार तैयार नहीं कर रहे हैं. मूर्तिकारों का कहना है कि एनजीटी के नियम और जिला प्रशासन की सफाई के कारण आयोजन इस बार छोटी मूर्ति लेना ही पसंद कर रहे हैं. जहां पहले बड़ी-बड़ी मूर्तियां का क्रेज देखने को मिलता था, इस बार छोटी मूर्तियां ही आयोजन पसंद कर रहे हैं.