देहरादूनः उत्तराखंड आयुर्वेद विश्वविद्यालय (Uttarakhand Ayurved University) में भ्रष्टाचार की शिकायतों से जुड़े तमाम मामलों को लेकर विजिलेंस जांच (Vigilance will investigate corruption in Ayurveda University) के आदेश दे दिए गए हैं. इसमें गलत तरीके से नियुक्तियों के मामले भी शामिल हैं. खास बात यह है कि विश्वविद्यालय के कुलपति सुनील जोशी (University Vice Chancellor Sunil Joshi) की भी नियुक्ति को लेकर अलग से जांच करने की तैयारी है.
उत्तराखंड आयुर्वेद विश्वविद्यालय में पिछले लंबे समय से अवैध नियुक्तियों और वित्तीय अनियमितताओं समेत तमाम दूसरे विषयों पर शिकायतें सामने आती रही हैं. खास बात यह है कि इन मामलों को लेकर आयुर्वेद विश्वविद्यालय और शासन कई बार आमने सामने भी आते हुए दिखाई दिये हैं. इन मामलों को लेकर करीब 1 महीने पहले ही शासन ने पिछले 5 साल की नियुक्तियों और वित्तीय अनियमितताओं की शिकायतों के मामले में जांच के आदेश दिए थे. लेकिन इसके बाद अब इस मामले की गंभीरता को देखते हुए सरकार ने इसकी विजिलेंस जांच के आदेश कर दिए हैं.
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आयुर्वेद विश्वविद्यालय में रजिस्ट्रार की नियुक्ति पर भी लंबे समय से विवाद रहा है और इस मामले पर शासन के आदेशों के उलट विश्वविद्यालय के कुलपति की तरफ से कई निर्देश दिए गए हैं. लिहाजा, अब कुलपति की नियुक्ति पर जांच कराने की तैयारी समेत विश्वविद्यालय के तमाम दूसरे कार्यों पर विजिलेंस जांच के आदेश हुए. हालांकि, ईटीवी भारत से बात करते हुए विजिलेंस के निदेशक अमित सिन्हा ने फिलहाल इससे संबंधित कोई भी आदेश नहीं मिलने की बात कही है और ऐसा आदेश मिलने के बाद इस पर कार्रवाई की बात कही है.