देहरादून: नाबालिग से चरस की तस्करी करवाने के मामले में अदालत ने आरोपी बैंक क्लर्क को एक लाख रुपये अर्थदंड के साथ 10 साल की कठोर कारावास की सजा सुनाई है. वहीं, जुर्माने की रकम अदा न करने पर आरोपी को एक साल की सजा और भुगतनी होगी.
बता दें कि साल 2012 के नवंबर महीने में नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो को कुछ बच्चों द्वारा चरस बेचे जाने की सूचना मिली थी. इस दौरान टीम ने मौके से पर एक किशोर को 960 ग्राम चरस के साथ पकड़ लिया. पकड़े गए किशोर ने बताया कि ये चरस प्रणय सती ने बेचने के लिए दिया था जोकि कर्णप्रयाग का रहने वाला है. उधर अदालत ने नाबालिग को किशोर न्याय बोर्ड भेज दिया था.
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वहीं, मामले में विशेष लोक अभियोजक जीपी रतूड़ी ने बताया कि न्यायधीश एनडीपीएस सुधीर कुमार की अदालत ने प्रणय सती को नाबालिग से चरस तस्करी कराने के जुर्म में 10 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही एक लाख का जुर्माना भी लगाया है. वहीं, जुर्माने की रकम अदा न करने पर उसे एक साल की सजा और भुगतनी होगी.