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'डिजिटल' जिंदगीः लॉकडाउन ने लोगों को दिया जीने का नया मंत्र, देखिए ये खास रिपोर्ट

लॉकडाउन में वीडियो कॉल का ट्रेंड बढ़ा है. घरों पर बैठे लोगों ने अपने मनोरंजन के लिए स्मार्टफोन को बढ़ावा दिया है. कैश के बजाय ऑनलाइन ट्रांजेक्शन को अपनाया. एक बात तो साफ है कि कोरोना लॉकडाउन ने लोगों को जीने का नया मंत्र दिया है.

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Published : Jul 7, 2020, 4:40 PM IST

Updated : Jul 20, 2020, 12:23 PM IST

देहरादूनः वैश्विक महामारी कोरोना वायरस के चलते लॉकडाउन से हर वर्ग, हर तबके पर असर पड़ा है. तमाम छोटे-बड़े व्यापारियों के व्यवसाय पर भी बुरा असर पड़ा है. लेकिन इस बीच घर के अंदर रहकर हमने-आपने ऐसा क्या-क्या किया, जिसने पारंपरिक व्यवसाय को पीछे धकेला. लेकिन नए व्यवसाय की ओर कदम बढ़ाया है. वर्क फ्रॉम होम से लैपटॉप की बिक्री में 20 फीसदी तक की बढ़ोत्तरी की. वर्चुअल क्लासेस से स्मार्टफोन की बिक्री को आम दिनों की तुलना में 40 फीसदी बढ़ाकर फायदा पहुंचाया. इसके अलावा सिनेमा को हॉल से ओटीटी प्लेटफॉर्म तक पहुंचाया.

आपको ये जानकर ताज्जुब होगा कि 25 मार्च से देशभर में लॉकडाउन लागू होने के दौरान जब हवाई यात्रा बंद थी. कभी न रुकने वाली ट्रेन और बस के पहिए जाम थे. ऐसे वक्त में जब सड़कें वीरान थीं और दुकानों पर ताला जड़ा था. उस वक्त हमने घर बैठे ही ऐसा कुछ किया, जिसने देश ही नहीं दुनिया के लोगों को नए कल्चर और चीजों से रूबरू कराया और सिखाया कि जिंदगी कभी रुकती नहीं. लॉकडाउन में जहां हर व्यवसाय को ऐतिहासिक घाटा झेलना पड़ा. उस वक्त मोबाइल फोन और लैपटॉप की बंपर बिक्री ने इससे जुड़े कारोबारियों के चेहरे को मुस्कान दी.

लॉकडाउन ने दिया जीने का नया मंत्र

20 फीसदी तक बढ़ी लैपटाप की बिक्री

लॉकडाउन के दौरान शुरू हुए 'वर्क फ्रॉम होम' थीम से मोबाइल और लैपटॉप बिक्री पर बड़ा असर देखने को मिला. हालांकि 'वर्क फ्रॉम होम' कोई नया कांसेप्ट नहीं है. लेकिन कोरोना लॉकडाउन के बीच ये कल्चर कई मल्टीनेशनल कंपनियों के लिए किसी वरदान से कम नहीं था. घर पर रहकर लॉकडाउन का पालन भी और काम में भी कोई अड़चन नहीं. इलेक्ट्रॉनिक्स व्यवसाय से जुड़े कारोबारी बताते हैं कि सामान्य दिनों के मुकाबले लॉकडाउन के दौरान लैपटॉप की बिक्री में करीब 15 से 20 फीसदी का उछाल देखा गया.

पढ़ेंः कोरोना वायरस स्वास्थ्य बीमा दावा दाखिल करना है? जानिए आप कितनी लागत वसूल सकते हैं


30 से 40 फीसदी तक बढ़ी स्मार्टफोन की बिक्री

लॉकडाउन के दौरान स्मार्टफोन की बिक्री सामान्य दिनों के सापेक्ष 30 से 40 फीसदी तक बढ़ने की मुख्य वजह वर्चुअल क्लास रहा है. लॉकडाउन के दौरान बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो, इसके लिए सरकार ने बच्चों के लिए वर्चुअल क्लासेस कल्चर शुरू किया. हालांकि ये विकसित देशों जैसे अमेरिका, चीन, द ग्रेट ब्रिटेन जैसे देशों में आम है. लेकिन कोरोना संकट के बीच भारत में वर्चुअल क्लासेस का बच्चों को सबसे ज्यादा फायदा मिला. स्मार्ट फोन की बिक्री में 30 से 40 फीसदी तक की बढ़ोत्तरी हुई है.


हॉल से निकलकर नए प्लेटफॉर्म तक पहुंचा सिनेमा

कोरोना संक्रमण के चलते 25 मार्च से देशभर में सिनेमाहॉल बंद हैं. लेकिन फिल्में रिलीज हो रही हैं. इस बार प्लेट फॉर्म नया है. इन दिनों ओटीटी प्लेटफॉर्म पर फिल्में रिलीज हो रही हैं. ओटीटी फॉर्मेट में रिलीज होने वाली पहली फिल्म अमिताभ और आयुष्मान खुराना की फिल्म गुलाबो सिताबो रही. लॉकडाउन में वीडियो कॉल का ट्रेंड बढ़ा है. घरों पर बैठे लोगों ने अपने मनोरंजन के लिए स्मार्टफोन को बढ़ावा दिया है. कैश के बजाय ऑनलाइन ट्रांजेक्शन को अपनाया. एक बात तो साफ है कि कोरोना लॉकडाउन ने लोगों को जीने का नया मंत्र दिया है.

देहरादूनः वैश्विक महामारी कोरोना वायरस के चलते लॉकडाउन से हर वर्ग, हर तबके पर असर पड़ा है. तमाम छोटे-बड़े व्यापारियों के व्यवसाय पर भी बुरा असर पड़ा है. लेकिन इस बीच घर के अंदर रहकर हमने-आपने ऐसा क्या-क्या किया, जिसने पारंपरिक व्यवसाय को पीछे धकेला. लेकिन नए व्यवसाय की ओर कदम बढ़ाया है. वर्क फ्रॉम होम से लैपटॉप की बिक्री में 20 फीसदी तक की बढ़ोत्तरी की. वर्चुअल क्लासेस से स्मार्टफोन की बिक्री को आम दिनों की तुलना में 40 फीसदी बढ़ाकर फायदा पहुंचाया. इसके अलावा सिनेमा को हॉल से ओटीटी प्लेटफॉर्म तक पहुंचाया.

आपको ये जानकर ताज्जुब होगा कि 25 मार्च से देशभर में लॉकडाउन लागू होने के दौरान जब हवाई यात्रा बंद थी. कभी न रुकने वाली ट्रेन और बस के पहिए जाम थे. ऐसे वक्त में जब सड़कें वीरान थीं और दुकानों पर ताला जड़ा था. उस वक्त हमने घर बैठे ही ऐसा कुछ किया, जिसने देश ही नहीं दुनिया के लोगों को नए कल्चर और चीजों से रूबरू कराया और सिखाया कि जिंदगी कभी रुकती नहीं. लॉकडाउन में जहां हर व्यवसाय को ऐतिहासिक घाटा झेलना पड़ा. उस वक्त मोबाइल फोन और लैपटॉप की बंपर बिक्री ने इससे जुड़े कारोबारियों के चेहरे को मुस्कान दी.

लॉकडाउन ने दिया जीने का नया मंत्र

20 फीसदी तक बढ़ी लैपटाप की बिक्री

लॉकडाउन के दौरान शुरू हुए 'वर्क फ्रॉम होम' थीम से मोबाइल और लैपटॉप बिक्री पर बड़ा असर देखने को मिला. हालांकि 'वर्क फ्रॉम होम' कोई नया कांसेप्ट नहीं है. लेकिन कोरोना लॉकडाउन के बीच ये कल्चर कई मल्टीनेशनल कंपनियों के लिए किसी वरदान से कम नहीं था. घर पर रहकर लॉकडाउन का पालन भी और काम में भी कोई अड़चन नहीं. इलेक्ट्रॉनिक्स व्यवसाय से जुड़े कारोबारी बताते हैं कि सामान्य दिनों के मुकाबले लॉकडाउन के दौरान लैपटॉप की बिक्री में करीब 15 से 20 फीसदी का उछाल देखा गया.

पढ़ेंः कोरोना वायरस स्वास्थ्य बीमा दावा दाखिल करना है? जानिए आप कितनी लागत वसूल सकते हैं


30 से 40 फीसदी तक बढ़ी स्मार्टफोन की बिक्री

लॉकडाउन के दौरान स्मार्टफोन की बिक्री सामान्य दिनों के सापेक्ष 30 से 40 फीसदी तक बढ़ने की मुख्य वजह वर्चुअल क्लास रहा है. लॉकडाउन के दौरान बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो, इसके लिए सरकार ने बच्चों के लिए वर्चुअल क्लासेस कल्चर शुरू किया. हालांकि ये विकसित देशों जैसे अमेरिका, चीन, द ग्रेट ब्रिटेन जैसे देशों में आम है. लेकिन कोरोना संकट के बीच भारत में वर्चुअल क्लासेस का बच्चों को सबसे ज्यादा फायदा मिला. स्मार्ट फोन की बिक्री में 30 से 40 फीसदी तक की बढ़ोत्तरी हुई है.


हॉल से निकलकर नए प्लेटफॉर्म तक पहुंचा सिनेमा

कोरोना संक्रमण के चलते 25 मार्च से देशभर में सिनेमाहॉल बंद हैं. लेकिन फिल्में रिलीज हो रही हैं. इस बार प्लेट फॉर्म नया है. इन दिनों ओटीटी प्लेटफॉर्म पर फिल्में रिलीज हो रही हैं. ओटीटी फॉर्मेट में रिलीज होने वाली पहली फिल्म अमिताभ और आयुष्मान खुराना की फिल्म गुलाबो सिताबो रही. लॉकडाउन में वीडियो कॉल का ट्रेंड बढ़ा है. घरों पर बैठे लोगों ने अपने मनोरंजन के लिए स्मार्टफोन को बढ़ावा दिया है. कैश के बजाय ऑनलाइन ट्रांजेक्शन को अपनाया. एक बात तो साफ है कि कोरोना लॉकडाउन ने लोगों को जीने का नया मंत्र दिया है.

Last Updated : Jul 20, 2020, 12:23 PM IST
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